English Quote in Poem by Kumar Sharma

Poem quotes are very popular on BitesApp with millions of authors writing small inspirational quotes in English daily and inspiring the readers, you can start writing today and fulfill your life of becoming the quotes writer or poem writer.

हिजाब

ना मैं हूं किसी तन की रवानी
ना मैं हूं किसी लिबास की कहानी
बहते हर्फ को मिले जो सीमा
बन जाए हिजाब उसकी निशानी

उठे जो नैन अपनी शर्म छोड़े
कर्ण जो रोज़ हर किसी को सुने
जान सके जो अपनी सीमा
बन जाए हिजाब उसकी निशानी

चहुं ओर जो मगरूर बने
मूर्ख हुए खुद को पंडित कहे
भेद सके जो अपनी सीमा
बन जाए हिजाब उसकी निशानी

खलीफा बन हुआ न मसीहा
ताकत जो औरों पे कहर बने
खोज सके जो अपनी सीमा
बन जाए हिजाब उसकी निशानी

मज़रूम हर दर्द सहता रहा
धनी किसी और को न जान सका
कुमार देख दोनो की सीमा
क्या यही हिजाब बना

- कुमार

English Poem by Kumar Sharma : 111844392
New bites

The best sellers write on Matrubharti, do you?

Start Writing Now