आपको ऐसा नहीं लगता हम सब एक नाटक के पात्र है ।
जिसको पहले ही लिखा जा चुका है ,
ये नाटक यूंही चलता आ रहा है , करोड़ों सालों से ।
आप या मैं कभी तो किसी दौर में मुख्य राजा के किरदार में रहे होंगे या , उस राजा की क्रूरता का शिकार रहे होंगे जिसकी मौत से समाज में एक नया संदेश गया होगा या एक आंदोलन खड़ा हुआ होगा , या उस आंदोलन में राजा का गला काटने वाले हम ओर आप मुख्य किरदार रहे होंगे ।
लाखों कहानियों में आप और हम एक साथ या एक दूसरे के विपक्ष खेड़े होंगे , जैसे कि आज मैं लिख रहा हु , वो ही विचार आप आज पढ़ रहे है ।
क्या एक संदेश नहीं है कि हम और आप कभी किसी दौर में एक रहे होंगे ।
अगर पहले से तय है तो मान लो मेरा लिखा हुआ तुम पढ़ रहे हो वो भी इसी का छोटा सा हिस्सा है ।