एक दौर की बाते
ओ साथी रे तेरे बिना क्या जिना और एक प्यार का नगमा हैं ये गाने तब मेहसूस हो जाते थे, जब जिन्दगी मे एसे भी कोई मायने होते होंगे, ये तक पता नही था तब आंखो से आंसू भी निकल आते थे और मेहसूस भी कर लिया करते थे , अब जब जिन्दगी मे ये गाने के क्या मायने होते हैं ये तो पता हैं पर इसके मायने समजा कर कोई चला गया हैं ये जब मेहसूस करते हैं तो अब इन्ही गानो पर हसी आ जाती हैं। 🙂
-Hetal_✍🏻