शीर्षक : - इंतजार
दिल तुटसा गया हैं अब , किसी पर भी भरोसा रहा नहीं ।
तेरा मेरे अंदर विश्वास जगाना , ओर फिर उसी विश्वास को तोड़ना ।
मेरी जिंदगी मैं युं आना अच्छा था , पर ऐसा क्या हुआ कि युं छोड गए ? आज भी वही चोराहे पर खडी हुं , इंतजार तेरा आज भी करती हुं ।
वापस आओगे कि नहीं पता नहीं , पर उम्मीद मैंने आज भी नहीं छोडी हैं ।
✍ ध्रुपा पटेल