नया साल
साल नया पर बात पुरानी
सारे जग की यही कहानी
जैसा था बस वही हाल है
फिर काहे का नया साल है
अंक है बदला राह वही है
सबके मन की चाह वही है
अब भी सबकी वही चाल है
फिर काहे का नया साल है
हम हैं चाहते सुधरे दूजा
ध्यान कहीं जब करते पूजा
फिर भी ना कोई मलाल है
फिर काहे का नया साल है
मन की मैल नहीं छूटी है
आशा किरण नहीं फूटी है
पूर्वाग्रह का वही हाल है
फिर काहे का नया साल है
समय सारणी निश्चित करते
पूर्ण न होती एक भी शर्तें
अब तो समझो बुरा हाल है
फिर काहे का नया साल है
आपस की कटुता हम भूलें
अच्छाई के शिखर को छू लें
चिर नवीन नूतन खयाल है
स्वागत वंदन नया साल है
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