साया ने सोनिया के गर्दन पर चाकू रख दिया ।
"को.. को.. कौन है ?" सोनिया के हलक से बड़ी मुश्किल से निकला। सोनिया का गौरा जिस्म कांपने लगा, जैसे उसे किसी तूफान में खड़ा कर दिया हो ?
साया के मुंह से आवाज निकली किसका इंतजार कर रही थी डार्लिंग। साया ने सोनिया को अपनी बांहों में भरा, में कब से इस समय का इंतजार कर रहा था, तुम्हारी खूबसूरत चढ़ती जवानी कब होगी हमारी ?
सोनिया खिलखिला कर हंसने लगी, मेरी जान यह खूबसूरत जिस्म तुम्हारा ही तो है हमारे रास्ते के दोनों काटे अब निकल गए, अब सारा पैसा अपना ही तो हैं ।
"ठीक कहे रही हो डार्लिंग, यह साला पैसा भी कितना बुरा होता है आदमी से कैसी – कैसी चीज करवा देता है ? देख लो यहां तुम्हारा पति अमित बजाज का मर्डर हुआ और वहां मेरा भाई राहुल खन्ना गिरफ्तार हुआ।"
साया और कोई नही ? बल्कि साजन ही था एक तीर से दो शिकार, मेरा भाई साला जेल के अंदर और तेरा पति भगवान के पास । कल चाकू श्रीकांत को हमारे लॉन की मिटटी में गड़ा मिल जायेगा। सोनिया कोई भी यह बात नही मान सकता की अमित बजाज का खून तुमने किया है, क्योंकि में चाहकर भी तुम्हारे घर नही आ सकता था ? वरना किसी को मेरे ऊपर शक हो जाता। की मैंने अमित बजाज का मर्डर किया है मैंने पहले से ही राहुल के फिंगरप्रिंट उस चाकू पर ले रखे हैं, यही तो साला दिमाग लगता हैं की मैने पहले ही एक जैसे दो चाकू ले रखे थे। एक तुम्हारे पास दूसरा मेरे पास जिसपर मैने पहले से ही राहुल के फिंगरप्रिंट ले रखे हैं। कल पुलिस को चाकू लॉन में गड़ा मिल जायेगा और बाकी कसर तुमने पहले ही पूरी कर दी। श्रीकांत को वही कहानी सुनाकर जो मैंने तुम्हे सुनाई थी साजन का चेहरा एकदम लाल हो गया। मुझे मेरे भाई से एक - एक पैसा मांगना पड़ता था में अब कोई बच्चा नही रहे गया की मिनट – मिनट में अपने बड़े भाई से पैसे मांगता रहूं । अब मुझे कोई नहीं रोक सकता, सोनिया में और तुम अब इस कम्पनी के मालिक हैं।
और फिर दोनों जोर – जोर से हंसने लगे हैं । उनकी हंसी मानो ऐसी लग रही थी जैसे कोई पागल हंस रहा हो ।
"मेरी जान आज तो सेलिब्रेशन का दिन है।"
सोनिया नशीली आंखों से साजन को देख रही थी जैसे मानो किसी भिखारी को पंच पकवान का भोजन मिल गया हो। सोनिया किचन में वाइन लेने चली गई , फिर अगले ही पल उसके एक हाथ में दो गिलास व दूसरे में वाइन की बोतल थी ।
साजन गिलास पकड़ता हुआ बोला — "तुम तो इस नाइटी में भी कयामत लग रही हो ।" तुम्हारे हुसन के आगे तो दुनिया की सारी चीजे फीकी है।
सोनिया मुस्कुराई बस करो जिसके लिए इतने रिस्क लेकर आए हो वो तो कर लो।
साजन मुस्कुराके बोला हा— "सोनिया को बांहों में भरकर उसे प्यार करने लगा । सोनिया अपने होश खोने लगी, तभी सोनिया का चेहरा पीछे घुमा। तभी साजन ने एक रस्सी सोनिया के गले में डाली और पूरी ताकत से खींचने लगा ।
सोनिया का दम घुटने लगा, सोनिया ने काफी बहुत हाथ - मारे पर आखिर में सोनिया का पूरा शरीर ढीला पड़ने लगा। सोनिया की आंखें बाहर ओर निकल आई और चेहरा एक दम सफेद पड़ गया। अंत में सोनिया की गर्दन एक तरफ झूल गई ।
फिर साजन ने सोनिया की लाश को पंखे से लटका दिया ।
"साली तुझे में अपना पार्टनर बनाऊंगा । में कोई तुझे पागल लगता हूं जो अपने पति की ना हो सकी ? वो मेरी खाक होगी ?"
साजन अभी खिड़की से कूद कर बाहर ही आया था और चुपचाप निकलने की फिराक में था की अचानक रामसिंह की आवाज उसके कानों में पड़ी ।
"भागने की कोशिश मत करना वरना गोली मर दूंगा।"
साजन जहा खड़ा था वहां काफी अंधेरा था साजन सोचा इससे अच्छा मौका फिर नही मिलेगा ? वह अंधेरे में भागने लगा ।
रामसिंह को अंधेरे में देखने में बहुत दिक्कत आ रही थी और वह यही सोच रहा था। की आज अगर कातिल हाथ से निकल गया तो कभी हाथ में नही आयेगा। राम सिंह ने साजन के पैर पर निशाना बना कर गोली चलाई । उसी समय साजन को ठोकर लगी और वह गिर गया और जैसे साजन उठा राम सिंह की गोली सीधी उसकी छाती में जा लगी और साजन वहीं के वहीं मर गया ।
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अगले दिन राजनगर के अखबारो में एक ही खबर छपी हुईं थी की सोनिया और साजन का अफेयर चल रहा था दोनो ने मिलकर पहले अमित बजाज को मारा और उसके बाद राहुल खन्ना को फंसाया दिया । दोनो का एक ही प्लान था की एक तीर से दो शिकार। एक तरफ अमित बजाज भी मर गया और दूसरी तरफ राहुल खन्ना भी अमित बजाज के मर्डर के इल्जाम में फंस गया । वो कहावत है ना की गलत काम के गलत अंजाम ।
कल रात को साजन ने सोनिया को पंखे से लटका के मार दिया, ताकि पूरी कम्पनी का अकेला मालिक बन जाए । श्रीकांत को शक था सोनिया पे इसलिए उसने रामसिंह को सोनिया के घर की निगरानी के लिए वहा तैनात रख रखा था । "जब साजन!" सोनिया की हत्या करके भागने लगा तो रामसिंह ने पहले साजन को चेतावनी दी, पर जब साजन चेतावनी देने के बाद भी नहीं रुका तो तब मजबूर होकर रामसिंह ने पैरो पर गोली चली। पर साजन की किस्मत खराब निकली भागते समय साजन को ठोकर लगी और राम सिंह की गोली सीधा उसकी छाती में लगी और साजन की वहीं मौत होगी ।
राहुल खन्ना को रिहा कर दिया है और केस खत्म।
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रात के दस बज रहे थे खंडहर के बाहर एक कार आकर रुकी । कार से एक साया बाहर निकला।
खंडहर के दूसरी ओर एक कार पहले से ही खड़ी थी ।
साया कार की तरफ बढ़ा । थोड़ी दूरी पर ही कार के बोनट पर एक दूसरा साया बैठा हुआ था ।
पहला साया दूसरे से बोनट पर बैठे साया से बोला— ”अरे उस्ताद आने में बहुत समय हो गया।"
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