Zom-Bai - 5 in Hindi Thriller by Tabish Sultan books and stories PDF | Zom-Bai - 5

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Zom-Bai - 5

"ओय! अँधा है क्या ……तुझे इतनी बड़ी रोड नहीं दिख रही है ।",

ऑटो वाले पर गुस्से से चिल्लाते हुए चंडिका ने कहा। 

टक्कर इतनी जोरों की थी कि ऑटो उल्टा पलट गया था। ऑटो ऑटो ड्राइवर का हाथ बाहर निकला हुआ था और वो दर्द से चिल्ला रहा था। उसे डर से चिल्लाता हुआ देख चंडिका उसकी मदद करने गई, चंडिका के पीछे पीछे रूहान भी आने लगा।

ड्राइवर को नीचे से निकालने के लिए चंडिका ने ऑटो को पुश करना शुरू कर दिया ।उसे देखकर रुहान भी ऑटो को धक्का देने लगा ।दोनों के धक्का देने से ऑटो अपनी जगह से थोड़ा सा ही हिला, हिलने से इतनी जगह बन गई थी कि ड्राइवर उस जगह से आसानी से निकल सकता था।

किसी तरह चंडिका और रुहान ड्राइवर को खींचकर बाहर निकाला, ऐसा लग रहा था कि ड्राइवर ने काफी ज्यादा पी रखी थी। उसके मुंह से शराब की इतनी तेज़ बदबू आ रही थी कि चंडिका और रुहान को उससे दूरी बनानी पड़ रही थी। रुहान ने देखा कि उसकी कलाई में चोट लगी हुई है, जिसकी वजह से उसकी कलाइयों से खून निकल रहा था।

शराबी ऑटो ड्राइवर नशे की वजह से हिल रहा था।फिर चंडिका ने उसे लताड़ते हुए कहा।

" जब तुमसे संभला नहीं आता तो आखिर तुम शराब ही क्यों पीते हो??",

ऑटो वाले ने नशे में जवाब देते हुए कहा।

"अरे भैया, जिंदगी में रखा ही क्या है…. जिंदगी नशा है और नशा ही जिंदगी है।",

इतना कहकर वो ऑटो वाला और भी ज़्यादा लड़खड़ाने लगा ।

चंडीका और रुहान ने एक दूसरे को देखा और फिर किसी तरह हिम्मत करके ऑटो वाले को सीधे खड़ा किया। फिर दोनों ने मिलकर उसे ऑटो में ही बैठा दिया।

चंडीका ने ऊँची आवाज में उससे बोलते हुए कहा।

"हमें विरार तक लेकर जा सकते हो?",

ऑटो वाले ने टूटी फूटी ज़बान में ही जवाब देते कहा।

"बिहार… अभी बिहार लेकर चलते हैं।",

चंडिका उस ऑटो वाले से irritate हो गयी थी, आखिर में वो frustrate होकर बोली।

"ऐसी ही जान पर बनी पड़ी है, ऊपर से ये आदमी ",

फिर चंडिका को एक प्लान सूझा और उसने रुहान से कहा

" लग रहा है इस ऑटो को अब मुझे चलाना होगा।"

रूहान ने चंडिका की तरफ हैरानी से देखते हुए कहा।

" पक्का, तुम इसे चला लोगी?'",

फिर चंडिका ने उसे घूर कर देखते हुए कहा।

" चुपचाप बैठो …..और हम इस बेवड़े को भी अंदर बैठाना होगा।",

दोनों ही उस शराबी ऑटो ड्राइवर के साथ ऑटो में बैठ गये। चंडिका ने शुरू में बड़े ही संभल संभल कर ऑटो चलाया।जैसे ही उसका हाथ सेट हो गया, उसने ऑटो की स्पीड बढ़ा दी थी।ऑटो ड्राइवर और रुहान अगल-बगल बैठे हुए थे।उस ऑटो ड्राइवर ने इतना ज्यादा नशा कर लिया था कि उसे नींद आ गई थी, अभी ऑटो से उन्होंने कुछ दूरी ही तय की थी कि  ऑटो ड्राइवर की नींद से आंख खुल गई।

उस ऑटो ड्राइवर ने रुहान की तरफ देखा और गुर्राने लगा। उसकी गुर्राहट को सुनकर रुहान ज़ोर से चीखा। रुहान की चीखने की वजह से चंडीका भी डर गई और ऑटो का बैलेंस बिगड़ने लगा था। जब चंडिका ने पलट कर देखा ,तो उसके पांव के नीचे से जमीन खिसक गई थी।

ऑटो ड्राइवर भी ज़ॉम्बी बन चुका था। नशे की हालत में किसी ज़ॉम्बी ने उस पर अटैक कर दिया था और उसकी कलाइयों पर काट लिया था। उस ऑटो ड्राइवर जोंबी ने रुहान की गर्दन को पकड़ लिया , रुहान ने चंडिका को पुकारते हुए कहा।

" चंडिका मुझे बचाओ….ये….. ये ज़ोंबी मुझे मार डालेगा",

चंडीका डिसबैलेंस होते हुए ऑटो को किसी तरह से संभाल रही थी। ऑटो डिसबैलेंस होकर चाय की टपरी से टकरा गया था।इस टक्कर की वजह से ज़ॉम्बी, रुहान और चंडिका तीनों ही अलग-अलग डायरेक्शन में उछल कर गिर गए थे।

चंडीका ने किसी तरह खुद को संभाला और अपनी तलवार निकालकर उस जोंबी को ढूंढने लगी। रुहान भी जल्दी से उठकर चंडिका के पास आ गया 

चंडीका चारों तरफ नजरें दौड़ाकर जोंबी को ढूंढ रही थी लेकिन उसे वो ज़ॉम्बी नहीं नजर आया।

फिर दोनों एक-दूसरे का हाथ पकड़कर वहां से निकल गए, चलते चलते दोनों पास के एक सुपर मार्केट में रुक गए। सुपर मार्केट खुला हुआ था, उसमें कोई भी नहीं था और अंदर बुरी तरह से तोड़फोड़ हुई थी। दोनों ही चुपके-चुपके उस सुपरमार्केट में घुस गए और खाने पीने के सामान को उठाकर चेक करने लगे।

रुहान ने चिप्स का पैकेट खाने के लिए उठा लिया था जबकि चंडिका ने जूस की बोटल उठा ली थी। दोनों किनारे जाकर बैठ गए थे और थोड़ी देर के लिए सुस्ताने लगे थे।

चंडिका ने रुहान की तरफ देखा और उससे पूछा।

" क्या तुम्हारे पेरेंट्स भी…..",

रुहान चंडिका के सवालों को समझ गया था। फिर उसने जवाब देते हुए कहा।

"हां, पहले मेरी मम्मी ज़ॉम्बी बनी, फिर उसके बाद मेरे पापा…. मेरे पापा भी ज़ॉम्बी बन गए थे।",

"फिर तुम कैसे बच गए…..",।

चंडिका ने हैरानी से पूछते हुए कहा

फिर रुहान ने उसे अपनी पूरी कहानी बताई कि किस तरह से पापा ने उसे बचाते बचाते खुद एक ज़ॉम्बी बन गए। दोनों की आपस में बातें कर रहे थे कि उन्हें टीवी चलने की आवाज सुनाई देने लगी। जब बाहर निकल कर उन्होंने देखा तो कैश काउंटर के पास टीवी लगी हुई थी। उसमें लाइव न्यूज़ चल रही थी। उस लाइव न्यूज़ में न्यूज़ रिपोर्टर ने बताते हुए कहा।

"अभी अभी गवर्नमेंट की तरफ से हमें खबर मिली है कि गवर्नमेंट ने मुंबई बॉर्डर पर आर्मी लगा दी है, जल्दी आर्मी शहर में आकर लोगों को रेस्क्यू करेगी इसने जो जहां पर है,  वहीं पर अपने आप को किसी तरह सेफ रखें।",

ये न्यूज़ सुनकर चंडिका और रोहान की जान में जान आई। फिर दोनों ने खुश होकर काउंटर के पास रखे केक को खाना शूरु कर दिया था।

चंडिका इतनी खुश हो गयी कि उसने न्यूज़ चैनल बदल कर म्यूजिक चैनल लगा दिया और फिर म्यूजिक का वॉल्यूम भी बढ़ा दिया था। म्यूजिक सुनकर चंडिका अकेले ही डांस करने लगी जबकि रुहान टीवी पर ही म्यूज़िक वीडियो का मज़ा लेने लगा था।

टीवी के साइड पर एक बड़ा सा शीशा लगा हुआ था, रुहान की नज़र उस शीशे पर पड़ी। वो शीशे में चंडिका को नाचते हुए देख रहा था। चंडिका अपने डांस में इतनी मस्त हो गई थी कि उसे से कुछ भी होश नहीं था। 

रुहान शीशे में चंडिका के डांस को देख कर मुस्कुरा रहा था कि अचानक से उसने शीशे में ही देखा कि चंडिका के जस्ट पीछे 4- 5 जोंबी खड़े हुए हैं और चंडीका को ही एक टक देखे जा रहे हैं। चंडीका डांस करते करते उनके इतने करीब आ गई कि उसके और zombies के बीच की दूरी में सिर्फ 4-5 कदमों का ही फासला था। 

रुहान ने अपनी नज़र शीशे से हटाई और पलट कर चंडिका की तरफ देखने लगा उसने देखा कि चंडिका के पास उसकी तलवार नहीं है। उसने जोर से चंडीका को आवाज दी।

"चंडिका, चंडिका !",

लेकिन चंडिका अपने डांस में ही मग्न थी जबकि रुहान की आवाज़ से चंडिका के पीछे खड़े  Zombie अपनी हरकत में आ गए और वो फौरन चंडिका पर बुरी तरह से टूट पड़े। चंडिका अचानक से चौंक गई और उस React करने का मौका ही नहीं मिला लेकिन किसी तरह से खुद को संभालते हुए उसने अपनी जूडो कराटे स्किल्स का इस्तेमाल करके zombies के चंगुल से खुद को छुड़ा लिया ।फिर दोबारा उन Zombies ने aggressive तरीके से उस पर अटैक कर दिया। इस बार चंडिका उनके सामने बेबस नजर आ रही थी, वो मदद के लिए रुहान को बुला रही थी।

"रुहान, मदद करो मेरी…..रुहान…मदद…"

एक ज़ॉम्बी उसकी गर्दन के करीब आकर उसे काटने वाला था कि अचानक से उसके सिर पर तलवार से वार हुआ। ये वार रुहान ने किया था। एक ज़ॉम्बी को मरता देख बाकी ज़ॉम्बी ज़ोर से गुर्राए और फिर चंडिका को छोड़कर वो रुहान के पीछे पड़ गए, रुहान थोड़ी दूर भागा और फिर उसने तलवार नीचे से सरका कर चंडिका की तरफ फेंक दी थी। रुहान तेज़ी से भागकर काउंटर की तरफ आ गया था, काउंटर के सामने एक बड़ा सा शीशा लगा था और उस शीशे में ज़ोंबी को रुहान की सारी मूवमेंट दिख रही थी। रुहान ने भी ये चीज़ देख ली थी, फिर वो नीचे लेट गया और किसी सेना के जवान की तरह कोहनी से चलकर तेज़ी से आगे बढ़ने लगा था।जैसे ही उसने शीशे को cross किया, वो फ़ौरन उठा और छुप छुप कर चंडिका के पास आ गया।

चंडिका धीरे-धीरे कदमों से zombie के पीछे चल रही थी, फिर उसने बड़े ही दबे पांव Zombie के करीब गयी और दो जोंबी की गर्दन एक साथ काट दी थी।फिर जब बचे हुए एक Zombie ने उस पर अटैक किया तो चंडिका ने तलवार उसकी आँखें में भोंक कर आर पार निकाल दी।

दोनों फ़ौरन सुपर मार्केट के बाहर निकले और जैसे ही उन्होंने सुपरमार्केट के बाहर अपना कदम रखा, तो बाहर का मंज़र देखकर उनकी रूह कांप गई ।

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