पीठ पीछे खंजर घोंपते हैं,
अकसर वही अपने ही लोग होते हैं।
सामने हंसते हैं, कहते हैं हमारा भला चाहते हैं,
और दुनिया के सामने
सिर्फ बड़े भले बनते हैं।
दिल तोड़ते हैं, दिखावे में रखते हैं प्यार,
इन्हीं चेहरे के पीछे
छुपा होता है हजारों वार।
सच यही है,
सबसे खतरनाक वही होते हैं,
जिन्हें हम अपना समझते हैं।