नज़र से दिल तक

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कभी-कभी ज़िंदगी में कोई ऐसा मोड़ आता है जहाँ सबकुछ पहले जैसा रहते हुए भी अचानक अलग लगने लगता है।कहानी है अनाया की — एक मासूम-सी लड़की, जिसके सपनों में सिर्फ़ एक ही ख्वाब था — डॉक्टर बनने का। किताबों और मेहनत के बीच उसकी दुनिया बिल्कुल सीधी-सादी थी।और फिर… उसकी ज़िंदगी में आया राज।राज, उसका सीनियर… जो पढ़ाई में इतना डूबा हुआ था कि उसके लिए कॉलेज, क्लासेज़ और किताबों के अलावा कुछ था ही नहीं। लेकिन कहते हैं न, दिल की धड़कनों पर किसी का वश नहीं चलता।अनाया ने उसे पहली बार देखा तो लगा जैसे वक्त थम-सा गया हो। एक ही नज़र ने उसके दिल पर ऐसा असर डाला, जिसे वो खुद भी समझ नहीं पाई।ये कहानी है उन नज़रों की, जो चुपचाप बहुत कुछ कह जाती हैं…उन ख्वाहिशों की, जो जुबां तक कभी नहीं पहुँचतीं…और उस प्यार की, जो नज़र से दिल तक का सफ़र तय करता है।

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नज़र से दिल तक - 1

कभी-कभी ज़िंदगी में कोई ऐसा मोड़ आता है जहाँ सबकुछ पहले जैसा रहते हुए भी अचानक अलग लगने लगता है अनाया की — एक मासूम-सी लड़की, जिसके सपनों में सिर्फ़ एक ही ख्वाब था — डॉक्टर बनने का। किताबों और मेहनत के बीच उसकी दुनिया बिल्कुल सीधी-सादी थी।और फिर… उसकी ज़िंदगी में आया राज।राज, उसका सीनियर… जो पढ़ाई में इतना डूबा हुआ था कि उसके लिए कॉलेज, क्लासेज़ और किताबों के अलावा कुछ था ही नहीं। लेकिन कहते हैं न, दिल की धड़कनों पर किसी का वश नहीं चलता।अनाया ने उसे पहली बार देखा तो लगा जैसे वक्त थम-सा ...Read More

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नज़र से दिल तक - 2

अगले कुछ हफ़्ते अनाया के लिए नए अनुभवों से भरे रहे। कॉलेज की क्लासें, असाइनमेंट्स और प्रैक्टिकल्स का दबाव सब पर था, मगर उसके दिल में कहीं एक कोना हमेशा राज के लिए ही धड़कता था। सुबह से शाम तक उसकी नज़रें जैसे अनजाने ही राज को तलाशने का बहाना ढूँढतीं। चाहे कैंटीन का कोना हो या लाइब्रेरी का हॉल, भीड़ में उसका चेहरा देखते ही अनाया का दिन बन जाता।राज वैसे ही था—गंभीर, अनुशासन में रहने वाला और हर काम को perfection से करने वाला। कैंपस में सब उसकी इज़्ज़त करते थे, लेकिन उसकी दुनिया बस किताबों और ...Read More

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नज़र से दिल तक - 3

कैंपस की रौनक अब धीरे-धीरे सबके लिए सामान्य हो रही थी। नए दोस्त, नए assignments और नए experiences — दिन किसी न किसी के लिए यादगार बन जाता। लेकिन अनाया के लिए सबसे यादगार हर वो पल था जब उसकी नज़र राज पर पड़ जाती।राज अब भी वही था — सीरियस, अपने subjects में खोया हुआ और seniors की तरह हर किसी की मदद करने वाला। उसके आसपास हमेशा एक हल्की-सी distance रहती, जैसे वो दुनिया से जुड़ा भी है और अलग भी। शायद यही रहस्य, यही खामोशी अनाया को और गहराई से उसकी ओर खींचती जा रही थी।लाइब्रेरी ...Read More

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नज़र से दिल तक - 4

कैंपस की भीड़-भाड़ के बीच उस दिन का माहौल कुछ और ही था। मेडिकल कॉलेज के स्टूडेंट्स को पहली हॉस्पिटल ब्लॉक में एक live surgery demo दिखाया जाने वाला था। सबके चेहरे पर उत्सुकता और हल्की-सी nervousness थी।अनाया अपनी batch के साथ OT गैलरी में पहुँची। सामने बड़ी-सी glass window थी, जिसके उस पार डॉक्टर एक जटिल सर्जरी की तैयारी कर रहे थे। Students को procedure observe करना था और बाद में report बनानी थी।अनाया का दिल तेज़ धड़क रहा था। किताबों में anatomy पढ़ना अलग था, मगर अब सच में किसी patient को देखना — ये उसके लिए ...Read More

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नज़र से दिल तक - 5

अगले हफ़्ते ही first-year students को हॉस्पिटल block में पहली बार ward duty observe करने का मौका मिला। यह surgery demo से भी ज्यादा real और चुनौतीपूर्ण था, क्योंकि यहाँ सामने patients थे— उनकी तकलीफ़, उनकी उम्मीदें और उनकी नज़रों में doctors पर पूरा विश्वास।अनाया white coat पहनकर अपने group के साथ ward में पहुँची। हर तरफ machines की बीप, medicines की खुशबू और लोगों की चिंता का माहौल था। उसे अपने कदम भारी लग रहे थे।Raj already वहाँ मौजूद था, seniors के साथ rounds में। उसकी आँखें calm और focused थीं। वो हर detail note कर रहा था, ...Read More

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नज़र से दिल तक - 6

अगले कुछ दिन अनाया के लिए बेहद व्यस्त रहे। क्लास, lectures और ward duty का मिश्रण ऐसा था कि अपने लिए वक़्त निकालना मुश्किल लग रहा था। लेकिन उसके दिल में एक नई-सी ऊर्जा थी—क्योंकि अब हर duty के बीच उसे ये महसूस होता था कि कहीं-न-कहीं राज भी उसी माहौल में मौजूद है।Unexpected interactionWard duty के तीसरे दिन, group को एक emergency case observe करने का मौका मिला। एक middle-aged आदमी को अचानक breathlessness शुरू हो गई। Senior doctors तेजी से पहुँचे। Students को पीछे हटने का इशारा मिला, लेकिन राज और बाकी seniors ने तुरंत file संभाली ...Read More

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नज़र से दिल तक - 7

अगले दिन अनाया जल्दी उठी और hostel से निकलकर hospital पहुँच गई। उसके मन में हल्की घबराहट थी, लेकिन ही excitement भी थी—क्योंकि वह जानती थी कि आज भी राज वहाँ होगा। क्लास और ward duties की थकान उसके कंधों पर थी, लेकिन उसके दिल में हल्की उम्मीद भी थी।Morning roundsRounds शुरू हुए। राज usual calm और confident अंदाज में patients के पास जा रहा था। अनाया उसकी हर movement को ध्यान से observe कर रही थी। एक elderly patient के vitals check करते हुए राज ने casually पूछा—“Anaya, did you review Mr. Mehta’s latest reports?”अनाया तुरंत जवाब दी—“Yes ...Read More

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नज़र से दिल तक - 8

सुबह का हॉस्पिटल हमेशा की तरह हल्की हलचल और patients की आवाज़ों से भरा था।Anaya अपनी फाइल्स लेकर ward दाख़िल हुई तो उसकी नज़र सबसे पहले Raj पर पड़ी।वो कुछ junior doctors से calmly instructions दे रहा था।Anaya को देखते ही उसने हल्की सी नज़र उठाकर सिर हिलाया—जैसे एक silent “good morning।”Anaya के चेहरे पर अनजाने में मुस्कान आ गई।Rounds शुरू हुए। Raj patient के vitals check करते हुए बीच-बीच में juniors से सवाल पूछ रहा था।Anaya answers दे रही थी, पर कुछ technical terms पर उसकी आवाज़ हल्की धीमी हो जाती।Raj ने notice किया लेकिन कुछ कहा नहीं, ...Read More