Nazar Se Dil Tak - 6 in Hindi Love Stories by Payal Author books and stories PDF | नज़र से दिल तक - 6

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नज़र से दिल तक - 6


अगले कुछ दिन अनाया के लिए बेहद व्यस्त रहे। क्लास, lectures और ward duty का मिश्रण ऐसा था कि उसे अपने लिए वक़्त निकालना मुश्किल लग रहा था। लेकिन उसके दिल में एक नई-सी ऊर्जा थी—क्योंकि अब हर duty के बीच उसे ये महसूस होता था कि कहीं-न-कहीं राज भी उसी माहौल में मौजूद है।

Unexpected interaction

Ward duty के तीसरे दिन, group को एक emergency case observe करने का मौका मिला। एक middle-aged आदमी को अचानक breathlessness शुरू हो गई। Senior doctors तेजी से पहुँचे। Students को पीछे हटने का इशारा मिला, लेकिन राज और बाकी seniors ने तुरंत file संभाली और treatment शुरू किया।

अनाया दूर खड़ी थी, उसका दिल तेज़ी से धड़क रहा था। Machines की आवाज़ें, patients के परिजनों की चिंता, और doctors का hustle— सबकुछ भारी लग रहा था। तभी एक nurse ने उसे voice दी—
“Can you hold this for a minute?”

अनाया ने तुरंत tray पकड़ ली। उसके हाथ काँप रहे थे, लेकिन उसने खुद को steady किया। तभी उसकी नज़र Raj पर पड़ी। उसकी आँखों में वही calmness थी, वही control जो पूरे chaos के बीच भी किसी anchor की तरह था।

कुछ ही देर में patient stabilize हो गया। Seniors ने राहत की साँस ली। Raj ने glance करके अनाया की तरफ देखा—जैसे silently कह रहा हो, “You did fine.”

Corridor conversation

Duty खत्म होने के बाद students corridor में notes discuss कर रहे थे। अनाया अभी भी थोड़ा shaken थी। राज ने उसकी तरफ आकर casually पूछा—
“Scared?”

अनाया ने हल्की मुस्कान दी—
“हाँ… थोड़ा। पर शायद यह डर ही सीखने का हिस्सा है।”

राज ने सिर हिलाया।
“True. Medicine में दो तरह के लोग fail होते हैं—एक वो जो डर को accept ही नहीं करते, और दूसरे वो जो डर से भाग जाते हैं। Balance सीखना ही असली courage है।”

अनाया ने उसके words को मन में गहराई से उतार लिया। उसके लिए यह सिर्फ advice नहीं, बल्कि confidence की तरह था।

Hostel diary

उस रात अपनी diary में अनाया ने लिखा—
“आज मैंने जाना कि डर को मिटाना solution नहीं है, उसे संभालना ही skill है। राज ने ये line casually कही थी, पर मेरे लिए यह reminder है कि मैं weak नहीं हूँ। कभी-कभी उसका एक छोटा-सा वाक्य मुझे इतना inspire करता है, जितना कोई लंबा lecture भी नहीं कर पाता।”

Raj’s reflection

दूसरी तरफ, अपने room में Raj notes revise कर रहा था। लेकिन बार-बार उसके दिमाग में वही scene flash हो रहा था— जब अनाया ने काँपते हाथों से tray संभाली थी। वो जानता था कि किसी भी junior के लिए ये nervousness normal है। मगर जो उसे interesting लगा, वो था अनाया का अपने डर को छिपाए बिना भी काम पूरा कर लेना।

उसने खुद से सोचा—
“यह लड़की अलग है। ज़्यादातर लोग डर को cover करने के लिए overconfidence दिखाते हैं। But she didn’t. She accepted it… and still managed. That’s rare.”

A subtle change

अगले दिन anatomy lab में group dissection चल रही थी। अनाया एक corner पर notes लिख रही थी। Raj पास आया और अचानक बोला—
“अगर कभी ward duty में panic feel करो, तो बस तीन deep breaths लो। Mind reset हो जाएगा।”

अनाया ने हैरानी से उसकी तरफ देखा।
“तुम्हें कैसे पता चला कि मैं panic करती हूँ?”

Raj ने हल्की-सी मुस्कान दी—
“Observation… doctor बनने के लिए जरूरी skill।”

अनाया को हँसी आ गई, लेकिन उसके दिल में हल्की-सी warmth भी उतर गई।

Moun Sweekar

Lab खत्म होने के बाद सब बाहर निकल रहे थे। अनाया थोड़ा पीछे रह गई। उसने diary के लिए एक छोटी note लिखी—
“आज पहली बार लगा कि शायद मैं invisible नहीं हूँ। उसने notice किया। और ये notice होना… किसी award से कम नहीं।”

Raj ने दूर से देखा कि अनाया मुस्कुरा रही है, खुद से कुछ लिख रही है। उसने बस मन ही मन सोचा—
“Interesting junior…”

वो बस इतना ही सोच पाया। पर कहीं गहराई में, एक subtle connection की शुरुआत हो चुकी थी— जिसे दोनों अभी नाम नहीं दे पा रहे थे।


To Be Continued…

(क्या ये छोटे-छोटे पल, उनकी medical journey को friendship और trust के नए मोड़ तक ले जाएँगे?)