भारत की राजनैतिक श्री अंनत में विलुप्त हो गई!
जनभाषा की संसंदीय सुषमा समाप्त हो गई!
वैयक्तिक आभा का एक युग जीकर हमारे समय की शीर्षतम विदुषी, अटलजी के बाद की सर्वाधिक संतुलित व सम्मोहक संसदीय वक्ता की वाणी ने विराम ले लिया!
पूरे देश की ओर से उन्हें विनम्र श्रद्धांजलि...??