_______✍️
तुम्हारे रूप को देखकर लगा कि
खुद चांद उतर आया है,
जादू चलाया कुछ इस तरह की
तुम्हे पाने का ख्वाब दिल में आया है,
नशा चडा कुछ इस तरह की,
तुम्हारी चाह में अपनों को खोने का समय आया है,
इश्क के नाम पर खेल एसा खेला की,
जीवन के इस दौर में गमो का तूफान आया है,
पता नहीं था कि चांद के नाम पर
' शापित चांद ' हो तुम,
इसलिए आज हमारा रोने का मौसम आया है।
-Mehta Mansi