एलारिया: लिलीवुड का पतन
एलारिया की शांत और सुंदर दुनिया में, जहाँ हरे-भरे मैदान और घने जंगल फैले हुए थे, एक छोटा-सा गाँव लिलीवुड अपनी सादगी और खुशियों के लिए जाना जाता था। यहाँ के लोग प्रकृति के करीब रहते थे, खेती और शिकार ही उनका जीवन था। सूरज की पहली किरण के साथ खेतों में हल चलने लगते और दिन ढलते ही शिकारियों की टोलियाँ जंगल से लौटतीं, उनके चेहरों पर संतोष की चमक होती। इस गाँव का हर व्यक्ति एक-दूसरे का सहारा था, मानो वे सब एक बड़े परिवार का हिस्सा हों। लिलीवुड की हवा में हमेशा हँसी-खुशी और अपनेपन की महक घुली रहती थी।
हमारे नायक, मार्कस, का घर भी इसी लिलीवुड में था। वह अपने माता-पिता और छोटी बहन, लीना, के साथ रहता था। मार्कस अभी युवा था, मुश्किल से बीस का। उसका शरीर गठीला और मजबूत था, जो लिलीवुड के मेहनती जीवन का प्रतीक था। उसकी आँखें गहरी भूरी थीं, जिनमें अक्सर एक सपने देखने वाले की चमक दिखती थी, लेकिन जरूरत पड़ने पर उनमें दृढ़ता भी झलकती थी। लीना, जो मार्कस से पाँच साल छोटी थी, गाँव की सबसे चंचल और प्यारी बच्ची थी। उसकी मीठी हँसी पूरे गाँव में गूँजती थी और वह अक्सर मार्कस के साथ-साथ जंगलों में भटकती रहती थी, हालाँकि मार्कस उसे हमेशा अपनी नज़रों के सामने रखता था। उनके पिता, एल्ड्रिन, गाँव के सबसे कुशल शिकारी थे, जिनकी बुद्धिमत्ता और अनुभव का हर कोई सम्मान करता था। माँ, सारा, अपने कोमल स्वभाव और अद्भुत खाना पकाने के कौशल के लिए जानी जाती थीं, उनका प्यार भरा स्पर्श हर घर को अपना बना देता था।
मार्कस का जीवन साधारण था, लेकिन खुशियों से भरा। सुबह वह अपने पिता के साथ खेतों में काम करता या जंगल में शिकार पर जाता। दोपहर में लीना के साथ गाँव के पास बहने वाली नदी में मछलियाँ पकड़ता या उसे कहानियाँ सुनाता। शाम को, जब पूरा परिवार एक साथ आग के पास बैठता, तो एल्ड्रिन उन्हें प्राचीन एलारिया की कहानियाँ सुनाते, योद्धाओं और जादुई प्राणियों की कहानियाँ, जिनसे मार्कस का मन अक्सर रोमांच से भर उठता। सारा गरम-गरम रोटी और सब्जी परोसतीं, और लीना अपने दिन भर के किस्से सुनाती, जिससे माहौल और खुशनुमा हो जाता। मार्कस के लिए, लिलीवुड सिर्फ एक जगह नहीं, बल्कि उसकी आत्मा का हिस्सा था।
अँधेरे का आगमन
लिलीवुड की खुशियों को किसी की नज़र लग गई। एक दिन, जब सूरज ढल रहा था और गाँव के लोग अपने घरों को लौट रहे थे, एक अजीब सी खामोशी छा गई। हवा में ठंडक घुलने लगी और एक अजीब सी गंध आने लगी, जो किसी भी शिकारी को बेचैन कर देती थी। मार्कस उस वक्त अपने पिता के साथ शिकार से लौट रहा था। उन्होंने दूर से ही गाँव के ऊपर एक काला साया देखा, जो धीरे-धीरे बड़ा होता जा रहा था। एल्ड्रिन का चेहरा सफ़ेद पड़ गया।
"भाग मार्कस! जितनी तेज़ी से भाग सकता है, भाग!" एल्ड्रिन ने फुसफुसाते हुए कहा, उनकी आवाज़ में डर की बजाय एक अजीब सी चेतावनी थी।
मार्कस को कुछ समझ नहीं आया। "क्या हुआ, पिताजी? वह क्या है?"
"वो... वो पिशाच हैं, मार्कस! भागो! लीना और माँ को बचाओ!"
लेकिन इससे पहले कि वे कुछ कर पाते, अँधेरे के साए तेज़ी से लिलीवुड की ओर बढ़े। वे हवा में तैरते हुए आ रहे थे, उनकी आँखें रात के अँधेरे में लाल अंगारों की तरह चमक रही थीं। उनकी गति इतनी तेज़ थी कि एक पल में वे गाँव के बाहरी हिस्से तक पहुँच गए। ये ऐसे प्राणी थे जिनसे आम इंसान लड़ नहीं पाते थे—पिशाच, जिन्हें एलारिया में वैम्पायर के नाम से जाना जाता था। उनकी त्वचा बर्फ़ जैसी ठंडी और आँखें रक्त की प्यासी होती थीं। उनकी उपस्थिति से ही जीवन शक्ति क्षीण होने लगती थी।
गाँव में चीख-पुकार मच गई। जो लोग अभी भी बाहर थे, वे अपनी जान बचाने के लिए घरों की ओर भागे, लेकिन पिशाचों ने उन्हें पलक झपकते ही दबोच लिया। मार्कस और एल्ड्रिन ने देखा कि कैसे उनके पड़ोसी, जिनके साथ वे रोज़ बातचीत करते थे, उन भयानक प्राणियों के हाथों बेजान होते जा रहे थे। मार्कस का दिल डूब गया। वह दौड़कर अपने घर की ओर भागा, उसके दिमाग में बस लीना और सारा की चिंता थी।
लिलीवुड का नरसंहार
जब मार्कस घर पहुँचा, तो उसने देखा कि उसकी माँ और लीना घर के अंदर दुबकी हुई थीं, उनके चेहरे पर डर साफ झलक रहा था। एल्ड्रिन भी कुछ ही देर में उनके पास पहुँच गए।
"दरवाजा बंद करो! जल्दी!" एल्ड्रिन ने चिल्लाया, और मार्कस ने बिना सोचे समझे भारी लकड़ी का दरवाजा बंद कर दिया।
बाहर से चीखने-चिल्लाने की आवाज़ें आ रही थीं, जो धीरे-धीरे एक भयानक सन्नाटे में बदल रही थीं। पिशाचों का आतंक पूरे गाँव पर छा गया था। मार्कस ने दरवाज़े के छेद से झाँका। उसने देखा कि पिशाच सिर्फ़ लोगों को मार नहीं रहे थे, बल्कि वे कुछ ढूँढ रहे थे। वे घरों में घुस रहे थे, हर कोने की तलाश कर रहे थे, चीज़ें तोड़ रहे थे, मानो किसी अनमोल वस्तु की तलाश में हों। उनकी लाल आँखें हर तरफ़ घूम रही थीं, एक अजीब सी बेचैनी के साथ।
"वे क्या ढूँढ रहे हैं?" सारा ने काँपते हुए पूछा।
एल्ड्रिन ने अपना सिर हिलाया। "मुझे नहीं पता। लेकिन जो कुछ भी है, वो बहुत महत्वपूर्ण है।"
पिशाचों की संख्या इतनी थी कि उन्हें रोकना असंभव था। वे इतने शक्तिशाली और क्रूर थे कि लिलीवुड के सीधे-सादे लोग उनके सामने टिक नहीं पाए। एक-एक करके, गाँव के घर टूटते गए, और लोगों की आशाएँ बिखरती गईं। मार्कस ने दरवाज़े से हटकर अपनी माँ और बहन को गले लगाया। वह उन्हें बचाना चाहता था, लेकिन उसे पता नहीं था कि कैसे।
अचानक, उनके घर का दरवाज़ा ज़ोर से टूटा। तीन पिशाच अंदर घुसे, उनकी आँखें खून से लाल थीं और उनके नुकीले दाँत बाहर निकले हुए थे। उनमें से एक ने एल्ड्रिन को पकड़ लिया, जबकि दूसरा सारा और लीना की ओर बढ़ा।
"नहीं!" मार्कस चिल्लाया और एक टूटी हुई लकड़ी के टुकड़े से पिशाच पर हमला करने की कोशिश की, लेकिन वह बहुत तेज़ था। पिशाच ने मार्कस को आसानी से दूर फेंक दिया।
अगले ही पल, मार्कस ने देखा कि पिशाचों ने उसके माता-पिता और बहन को अपनी गिरफ्त में ले लिया है। वह चीख उठा, लेकिन उसकी आवाज़ उसके गले में ही घुट कर रह गई। पिशाचों ने अपनी तलाश जारी रखी, वे घर का कोना-कोना छान रहे थे, लेकिन उन्हें वह चीज़ नहीं मिली जिसकी उन्हें तलाश थी। उनकी निराशा और गुस्सा बढ़ रहा था।
जब उन्हें अपनी मनचाही चीज़ नहीं मिली, तो उनका गुस्सा बेकाबू हो गया। पिशाचों ने लिलीवुड में एक भयानक नरसंहार कर दिया। वे लोगों को मारते गए, बिना किसी दया के, सिर्फ़ अपने गुस्से को शांत करने के लिए। मार्कस ने छिपकर यह सब देखा, उसकी आँखें आंसुओं से धुंधली हो चुकी थीं। उसने अपने परिवार को अपने सामने बेजान होते देखा। यह वह दृश्य था जो उसकी आत्मा में हमेशा के लिए अंकित हो गया। लिलीवुड, जो कभी खुशियों का गाँव था, अब राख और खून का ढेर बन चुका था। उसकी गलियाँ लाशों से पटी पड़ी थीं, और हवा में मौत की बदबू फैली हुई थी।
मार्कस को नहीं पता था कि वह कैसे बच गया। शायद पिशाचों ने उसे मरने के लिए छोड़ दिया था, या वे इतनी जल्दी में थे कि उन्होंने उसे अनदेखा कर दिया। जब अँधेरा और घना हो गया और पिशाचों की आवाज़ें दूर हो गईं, तो मार्कस धीरे-धीरे मलबे से बाहर निकला। उसने अपने चारों ओर देखा। लिलीवुड अब सिर्फ एक खंडहर था, एक कब्रिस्तान। उसके परिवार के शव वहाँ पड़े थे, निस्तब्ध। उसके दिल में एक गहरा शून्य बन गया था, एक ऐसा घाव जो शायद कभी नहीं भरेगा।
उस रात, एलारिया के शांत आकाश के नीचे, मार्कस ने एक कसम खाई। वह उन पिशाचों को कभी माफ़ नहीं करेगा। वह उन्हें ढूँढेगा, चाहे कुछ भी हो जाए। और वह यह भी पता लगाएगा कि आखिर वे क्या ढूँढ रहे थे, वह कौन सी चीज़ थी जिसके लिए उन्होंने इतने निर्दोष लोगों को मार डाला। लिलीवुड का पतन सिर्फ एक अंत नहीं था, बल्कि मार्कस की बदले की यात्रा की शुरुआत थी, एक यात्रा जो उसे एलारिया के सबसे अँधेरे कोनों तक ले जाएगी।
अब, मार्कस की इस यात्रा में आगे क्या होगा? क्या वह अपनी कसम पूरी कर पाएगा?