सोफी का संसार

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जॉस्टिन गार्डर का जन्म नॉर्वे की राजधानी ओस्लो में 8 अगस्त, 1952 को एक शिक्षक परिवार में हुआ था। लेखक बनने का निर्णय उन्होंने 19 वर्ष की आयु में लिया और बाल साहित्य की रचना प्रारम्भ कर दी। जॉस्टिन गार्डर का कहना है कि वह दोस्तोयेव्स्की, हरमन हैस, जार्ज लुई बोर्गेस तथा नॉर्वेजियन लेखक नुत हैमसन से प्रभावित हुए। उनका पहला कहानी-संग्रह 'निदान तथा अन्य कहानियाँ' 1986 में प्रकाशित हुआ। तदुपरान्त उनके दो उपन्यास-'द फ्रॉग कैसल' (1988) तथा 'द सॉलिटेयर मिस्ट्री' (1990) प्रकाशित हुए।

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सोफी का संसार - भाग 1

जॉस्टिन गार्डरजॉस्टिन गार्डर का जन्म नॉर्वे की राजधानी ओस्लो में 8 अगस्त, 1952 को एक शिक्षक परिवार में हुआ लेखक बनने का निर्णय उन्होंने 19 वर्ष की आयु में लिया और बाल साहित्य की रचना प्रारम्भ कर दी। जॉस्टिन गार्डर का कहना है कि वह दोस्तोयेव्स्की, हरमन हैस, जार्ज लुई बोर्गेस तथा नॉर्वेजियन लेखक नुत हैमसन से प्रभावित हुए। उनका पहला कहानी-संग्रह 'निदान तथा अन्य कहानियाँ' 1986 में प्रकाशित हुआ। तदुपरान्त उनके दो उपन्यास-'द फ्रॉग कैसल' (1988) तथा 'द सॉलिटेयर मिस्ट्री' (1990) प्रकाशित हुए। वे लगभग दो दशकों के लिए ओस्लो के एक कॉलेज में दर्शनशास्त्र के अध्यापक ...Read More

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सोफी का संसार - भाग 2

जादुई टोपीअच्छा दार्शनिक होने के लिए हमें चाहिए सिर्फ विस्मित होने की क्षमता...सोफी को पक्का विश्वास था कि गुमनाम उसे फिर पत्र लिखेगा। उसने फैसला किया कि इन पत्रों के विषय में वह फिलहाल किसी से कुछ नहीं कहेगी। स्कूल में अध्यापकों द्वारा पढ़ाए जा रहे विषयों पर अपना ध्यान केन्द्रित करने में उसे काफी कठिनाई आई। उसे लगा जैसे वे केवल फालतू विषयों पर ही बात कर रहे थे। आखिर वह इस बारे में बात क्यों नहीं करते कि मानव होना क्या है-या कि दुनिया क्या है और कैसे अस्तित्व में आई? उसने पहली बार ...Read More