उसके ख़्यालों में डूबकर..
अहसासों की तह तक जाना है...!
बहुत नायाब होते हैं इश्क़ में मिले ज़ख्म..
बिना किसी मरहम के हर ज़ख्म सह जाना है...!
आरज़ू- ए- गुफ़्तगू को कभी वो मिलता नहीं..
शायरी में हर बात को कह जाना है...!
सच्ची मोहब्बत कभी मुकम्मल नहीं होती है..
पाक मोहब्बत को अधूरा ही रह जाना है...!!
#तह