एक खूबसूरत सा ख्वान हो क्या तुम ?
मेरे कहने पर अपने आंखों के नमी को
हंसी में बदलोगे क्या तुम ??
बातें तो मैं साफ लहज़े में ही कह रही हूं
मेरे हर सवालों का जवाब बनोगे क्या तुम ??
होठों पर छाए खामोशी का आवाज बनोगे क्या तुम??
अब क्या कहूं मैं तुमसे , खुले आसमां के नीचे बैठ कर दो चार बातें करोगे क्या तुम ??
जवाब क्या होगा तुम्हारा मुझे पता नहीं
इशारों में ही कुछ समझा जाना तुम ________