कई बार जिंदगी के जख्म इतने गहरे होते हैं कि कई लोग इन्हें चूहों की तरह आके फुसलाते है । और फुसलाते वक्त हमारा दर्द बांटने का दिखावा करते हैं मगर असलियत में तो वह हमारे दर्द को या गहरी चोंट को कुरेदते हैं चूहों की तरह वह यह चाहते हैं कि हम अपने दर्द में और ज्यादा अपना आपा खो बैठे । लेकिन हमें इतना कमजोर भी नहीं होना चाहिए किसी के आगे क्योंकि उन चूहों को नहीं पता हम शैर हैं और शैर को अपनी जिंदगी की लड़ाई खुद ही लड़नी पड़ती है दूसरों का सहारा नहीं चाहिए और यह जो घाव होते हैं जब मिलते हैं तो रब उन घाव को सहने के लिए अपार शक्ति भी दे देता है और हमें कई ज्यादा और शक्तिशाली और मजबूत बना देता है। ऐ रब तेरा शुक्रिया । 🙏 Bindu Anurag
08:01PM 09/01/22
-Bindu _Anurag