हा मुझमे है संसार मेरा, खुश हूं की में मां हूं
एक तरफ है दुनिया, एक तरफ है आशिया
है स्थिर तराजू मेरा, संसार रहे महान मेरा
पीयू के साथ प्यार, बच्चो के साथ ममता
कहा जगा है द्वेष की, है ये तो मेरा संसार
सरिता सी बहती हूं, लेकर झरने को साथ
जुड़ती हुई सीमट जाती हूं में सागर से
नही कोई गिलेसिक्वे ना कोई उलझन
खुश हूं की है ये मेरा प्यार भरा संसार
-Shree