पतंग सा उड चलु लहरों के संग,
ना रास्तों का पता है, ना मंजिल का ठिकाना,
चल पड़ा हूँ हवाओं के साथ,
जिस तरफ जाये ये, वहीं मेरा रास्ता,
जहां पहुंचे वहीं मेरी मंजिल।
#kite

Hindi Blog by Divyesh Koriya : 111356267
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