hindi Best Women Focused Books Free And Download PDF

Stories and books have been a fundamental part of human culture since the dawn of civilization, acting as a powerful tool for communication, education, and entertainment. Whether told around a campfire, written in ancient texts, or shared through modern media, Women Focused in hindi books and stories have the unique ability to transcend time and space, connecting people across generations and cult...Read More


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  • प्यार का रिश्ता

    आज बहुत दिनों बाद शर्मा जी के घर जाना हुआ ।पहले तो वह हमारे घर के पास ही रहते थे...

  • भाइयो को पत्र

    डियर भैया ओर भाइयो...डेढ महीना हो गया दम घूट रहा होगा ना, जहाँ रात दिन सडको पे घ...

  • मुखौटा - 15 - अंतिम भाग

    मुखौटा अध्याय 15 हम सबको वहां देख "व्हाट ए प्लेजन्ट सरप्राइज !" कृष्णन बोला। मैं...

Hostel Girls (Hindi) - 8 By Kamal Patadiya

[प्रकरण 5 : संघर्षों से सफलता तक] [दृश्य 1 : "सिमरन दा ढाबा" Hotel & Restaurant] सिमरन के रेस्टोरेंट का बिजनेस दिन प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा था। करीब 2 साल के बाद, उनके पास काफी सा...

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प्यार का रिश्ता By Sunita Agarwal

आज बहुत दिनों बाद शर्मा जी के घर जाना हुआ ।पहले तो वह हमारे घर के पास ही रहते थे तो दोनों परिवारों में घनिष्ट मित्रता थी फिर उन्होंने एक कॉलोनी में अपना घर बनवा लिया तब से वहीं रहन...

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इतना बड़ा सच - (भाग 1) By Kishanlal Sharma

कमला को गेट तक विदा करके ज्यों ही सुधा ने पीठ मोड़ी, रमा के खिलखिलाने की आवाज उसके कानों मे पड़ी थी।रमा की हंसी की आवाज सुनकर उसके कदम किचिन की तरफ बढ़ गए। किचन मेंं शिखा सब्जी काट...

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कलयुगी सीता--(अंतिम भाग) By Saroj Verma

मैं एक पुरूष हूं, तो नारी के जीवन के बारे में मैं क्या कहूं, लेकिन जो नारी एक नए जीवन को दुनिया में लाती हैं, वो कमजोर तो कभी नहीं हो सकती,बस वो मजबूती का दिखावा नहीं करती,ताकि हम...

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न्याय-एक अछूत लड़की की कथा(अंतिम भाग) By Kishanlal Sharma

"तेरा दिमाग तो खराब नही हो गया।पागलों की सी बात कर रही है।तू होश में तो है।अछूतों को मेरे घर की देहरी लांघने की इज़ज़त नही है।और तू अपनी बेटी को मेरे घर की बहू बनाने की बात कर रही है...

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खून... By Sunita Agarwal

जेल की चारदीवारी में आये हुए उसे कई महीने हो गए थेपर वह हमेशा खामोश रहती और उसे जो भी काम दिया जाता पूरे मन से उसी में लगी रहती।किसी से भी बात नहीं करती थी। जेल की दूसरी कैदी आभा न...

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भाइयो को पत्र By Yayawargi (Divangi Joshi)

डियर भैया ओर भाइयो...डेढ महीना हो गया दम घूट रहा होगा ना, जहाँ रात दिन सडको पे घूमते थे, मज़े करते थे ओर कहा सब चुप चाप घर मे केद है ये सोचके के अगर बहार जाएगे, कुछ या किसी को छु ले...

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मुखौटा - 15 - अंतिम भाग By S Bhagyam Sharma

मुखौटा अध्याय 15 हम सबको वहां देख "व्हाट ए प्लेजन्ट सरप्राइज !" कृष्णन बोला। मैं जानती थी वह जानबूझकर आया है । "मीट माय वाइफ !", उसने बड़ी अदा से अपनी पत्नी उषा का हम सबसे परिचय करा...

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वो भूली दास्तां - भाग-१९ - अंतिम भाग By Saroj Prajapati

रश्मि के जाने के बाद चांदनी को चिंतित और परेशान देख विशाल ने इसका कारण जानना चाहा तो चांदनी ने उसे सारी बातें बता दी। सुनकर विशाल ने शांत भाव से कहा "चांदनी, रश्मि सही कह रही है। त...

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क्षात्रावास By Jyoti Prakash Rai

रमेश बाजार से घर लौट रहा था तभी उसे रास्ते में राजू मिला और कहने लगा आज तू तो बड़ा जल्दी बाजार से लौट रहा है, क्यूं क्या कोई अलग योजना है क्या तेरा ?रमेश ने कहा नहीं यार मित्र आज घ...

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आजकल की छोरियां By टीना सुमन

यह आजकल की छोरियां "सुना भागवान तुमने, तुम्हारा बेटा क्या कह रहा है, अपनी मर्जी से शादी करेगा, पढ़ी-लिखी नौकरी वाली बहू लाएगा, तुम्हें नहीं पता आजकल की छोरियां, शर्म हया तो इनमें ह...

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आर्मी वर्दी वालीं औरत By Prahlad Pk Verma

आज 2 साल हो गये मेरे पति को शहीद हुए, मुझे खुद पर विश्वाश था कि मैं उनकी शहादत को कभी भूलने नहीं दूंगीमेरे पति आर्मी में लेफ्टिनेंट कर्नल थे, हम कॉलेज में साथ साथ पढ़ा करते थे और ज...

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वापसी By Sunita Agarwal

लम्बा कद,गहरी नीली,आँखेँ आकर्षक व्यक्तित्व उसके रूप के माया जाल में फँसे बिना न रह सकी थी वह।उसके बात करने का अंदाज, उसकी मुस्कराहट किसी का भी मन मोह ले, फिर वो तो यौवन की दहलीज पर...

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आपसी वाहवाही ने सुधार की गुंजाइश खत्म कर दी है By Neelima Sharrma Nivia

बिना किसी शोर-शराबे के कहानियां लिखने वाली आकांक्षा पारे काशिव लंबे अर्से से कहानियां लिख रही हैं। उनकी कई कहानियां काफी चर्चित रही हैं। उनकी हर कहानी पहली कहानी से अलग होती है। उन...

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नियति By Sunita Agarwal

वह स्याह काली रात थी जब उसके जीवन में भी अंधकार के काले बादल छा गए थे । वह सोचती यह रात तो खत्म हो जाएगी पर उसके जीवन में आई स्याह काली रात कब खत्म होगी। सब कुछ ठीक चल रहा था कि उस...

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घर को सब पता है By NIKITA SHARMA

भारत एक ऐसा देश है जिसमें लोग पूरे देश को ही अपना परिवार मानते हैं सभी लोगों आपस में मित्र की तरह रहते हैं सभी में अपनापन, सहानुभूति और इंसानियत आज भी जिंदा है। सभी दूसरों की खुश...

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हवा के परों पर सफर By राजनारायण बोहरे

कहानी - इंतजार राजनारायण बोहरे ‘‘ ओफ्फो, देख तो रे ... क्या च्चीज है!’’उसने चौंक कर देखा उस तरफ, जहाँ से आवाज आई थी। ऐसे जुमले सुनने को कब से तरस रही है वह। आधा जुमला सुनकर आँखों म...

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भाग्य-दुर्भाग्य By Sunita Agarwal

महीनों से देख रही थी कि घर में एक एक पैसा सोच समझ कर खर्च किया जाता।कोई भी वस्तु बर्बाद नहीं की जातीरात की रोटियाँ बच जातीं तो उन्हें फेंका नहीं जाता गर्म करके एक एक सबको दी जाती।क...

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राइटिंग टेबल पर बैठी स्त्री - सपना सिंह का साक्षात्कार द्वारा नीलिमा By Neelima Sharrma Nivia

साक्षात्कारराइटिंग टेबल पर बैठी स्त्री किसी पारिवारिक सीन में नहीं अटती – सपना सिंह राइटिंग टेबल पर बैठी स्त्री किसी पारिवारिक सीन में नहीं अटती - सपना सिंह सपना सिंहसपना सिंह न...

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स्त्री मन के आवर्त्त By Vidya Singh

स्त्री मन के आवर्त्त डॉ. डिमरी के कमरे में जाने का इरादा बाँध कर निकले मेरे कदम दरवाजे पर ही ठिठक गए। अभी-अभी मैंने अपने कमरे को ताला लगा कर चाभी पर्स के हवाले की थी। अब मैं उस खिड़...

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हक की ज़मीन By padma sharma

हक की ज़मीन लगातार वारिश से पेड़ों पर अटी धूल छट गयी थी। चारों तरफ हरियाली छाई हुई थी सो सबका मन अपनी ही लौ में भरमा रहा था। सावन का महीना आते ही जगह-जग...

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मनोविकृति By Sunita Agarwal

जब मेरे पति शौर्य ने आकर बताया कि उनका प्रमोशन हो गया है और उनकी पोस्टिंग मैनेजर के पद पर जयपुर हो गई है तो मेरी खुशी का ठिकाना न रहा इसकी दो वजह थीं पहली ये कि मेरे पति असिस्टेन्ट...

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परवरिश By Sunita Agarwal

उस दिन फिर माँ बेटे में किसी बात पर झगड़ा हुआ था और इस झगड़े ने हर बार की तरह रौद्र रूप धारण कर लिया।माँ बेटे दोनों में जोरदार बहस हो रही थी।न माँ चुप होने को तैयार थी न ही बेटा।अंज...

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रजोनिवृत्ति-पूर्व पश्चात By Rama Sharma Manavi

स्त्री जीवन के दो अहम पड़ाव होते हैं-प्रथम रजोदर्शन, द्वितीय रजोनिवृत्ति।एक के बाद प्रकृति स्त्री को मातृत्व वहन करने की क्षमता प्रदान करती है एवं रजोनिवृत्ति के पश्चात प्रजनन...

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Hostel Girls (Hindi) - 8 By Kamal Patadiya

[प्रकरण 5 : संघर्षों से सफलता तक] [दृश्य 1 : "सिमरन दा ढाबा" Hotel & Restaurant] सिमरन के रेस्टोरेंट का बिजनेस दिन प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा था। करीब 2 साल के बाद, उनके पास काफी सा...

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प्यार का रिश्ता By Sunita Agarwal

आज बहुत दिनों बाद शर्मा जी के घर जाना हुआ ।पहले तो वह हमारे घर के पास ही रहते थे तो दोनों परिवारों में घनिष्ट मित्रता थी फिर उन्होंने एक कॉलोनी में अपना घर बनवा लिया तब से वहीं रहन...

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इतना बड़ा सच - (भाग 1) By Kishanlal Sharma

कमला को गेट तक विदा करके ज्यों ही सुधा ने पीठ मोड़ी, रमा के खिलखिलाने की आवाज उसके कानों मे पड़ी थी।रमा की हंसी की आवाज सुनकर उसके कदम किचिन की तरफ बढ़ गए। किचन मेंं शिखा सब्जी काट...

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कलयुगी सीता--(अंतिम भाग) By Saroj Verma

मैं एक पुरूष हूं, तो नारी के जीवन के बारे में मैं क्या कहूं, लेकिन जो नारी एक नए जीवन को दुनिया में लाती हैं, वो कमजोर तो कभी नहीं हो सकती,बस वो मजबूती का दिखावा नहीं करती,ताकि हम...

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न्याय-एक अछूत लड़की की कथा(अंतिम भाग) By Kishanlal Sharma

"तेरा दिमाग तो खराब नही हो गया।पागलों की सी बात कर रही है।तू होश में तो है।अछूतों को मेरे घर की देहरी लांघने की इज़ज़त नही है।और तू अपनी बेटी को मेरे घर की बहू बनाने की बात कर रही है...

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खून... By Sunita Agarwal

जेल की चारदीवारी में आये हुए उसे कई महीने हो गए थेपर वह हमेशा खामोश रहती और उसे जो भी काम दिया जाता पूरे मन से उसी में लगी रहती।किसी से भी बात नहीं करती थी। जेल की दूसरी कैदी आभा न...

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भाइयो को पत्र By Yayawargi (Divangi Joshi)

डियर भैया ओर भाइयो...डेढ महीना हो गया दम घूट रहा होगा ना, जहाँ रात दिन सडको पे घूमते थे, मज़े करते थे ओर कहा सब चुप चाप घर मे केद है ये सोचके के अगर बहार जाएगे, कुछ या किसी को छु ले...

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मुखौटा - 15 - अंतिम भाग By S Bhagyam Sharma

मुखौटा अध्याय 15 हम सबको वहां देख "व्हाट ए प्लेजन्ट सरप्राइज !" कृष्णन बोला। मैं जानती थी वह जानबूझकर आया है । "मीट माय वाइफ !", उसने बड़ी अदा से अपनी पत्नी उषा का हम सबसे परिचय करा...

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वो भूली दास्तां - भाग-१९ - अंतिम भाग By Saroj Prajapati

रश्मि के जाने के बाद चांदनी को चिंतित और परेशान देख विशाल ने इसका कारण जानना चाहा तो चांदनी ने उसे सारी बातें बता दी। सुनकर विशाल ने शांत भाव से कहा "चांदनी, रश्मि सही कह रही है। त...

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क्षात्रावास By Jyoti Prakash Rai

रमेश बाजार से घर लौट रहा था तभी उसे रास्ते में राजू मिला और कहने लगा आज तू तो बड़ा जल्दी बाजार से लौट रहा है, क्यूं क्या कोई अलग योजना है क्या तेरा ?रमेश ने कहा नहीं यार मित्र आज घ...

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आजकल की छोरियां By टीना सुमन

यह आजकल की छोरियां "सुना भागवान तुमने, तुम्हारा बेटा क्या कह रहा है, अपनी मर्जी से शादी करेगा, पढ़ी-लिखी नौकरी वाली बहू लाएगा, तुम्हें नहीं पता आजकल की छोरियां, शर्म हया तो इनमें ह...

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आर्मी वर्दी वालीं औरत By Prahlad Pk Verma

आज 2 साल हो गये मेरे पति को शहीद हुए, मुझे खुद पर विश्वाश था कि मैं उनकी शहादत को कभी भूलने नहीं दूंगीमेरे पति आर्मी में लेफ्टिनेंट कर्नल थे, हम कॉलेज में साथ साथ पढ़ा करते थे और ज...

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वापसी By Sunita Agarwal

लम्बा कद,गहरी नीली,आँखेँ आकर्षक व्यक्तित्व उसके रूप के माया जाल में फँसे बिना न रह सकी थी वह।उसके बात करने का अंदाज, उसकी मुस्कराहट किसी का भी मन मोह ले, फिर वो तो यौवन की दहलीज पर...

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आपसी वाहवाही ने सुधार की गुंजाइश खत्म कर दी है By Neelima Sharrma Nivia

बिना किसी शोर-शराबे के कहानियां लिखने वाली आकांक्षा पारे काशिव लंबे अर्से से कहानियां लिख रही हैं। उनकी कई कहानियां काफी चर्चित रही हैं। उनकी हर कहानी पहली कहानी से अलग होती है। उन...

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घर को सब पता है By NIKITA SHARMA

भारत एक ऐसा देश है जिसमें लोग पूरे देश को ही अपना परिवार मानते हैं सभी लोगों आपस में मित्र की तरह रहते हैं सभी में अपनापन, सहानुभूति और इंसानियत आज भी जिंदा है। सभी दूसरों की खुश...

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कहानी - इंतजार राजनारायण बोहरे ‘‘ ओफ्फो, देख तो रे ... क्या च्चीज है!’’उसने चौंक कर देखा उस तरफ, जहाँ से आवाज आई थी। ऐसे जुमले सुनने को कब से तरस रही है वह। आधा जुमला सुनकर आँखों म...

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भाग्य-दुर्भाग्य By Sunita Agarwal

महीनों से देख रही थी कि घर में एक एक पैसा सोच समझ कर खर्च किया जाता।कोई भी वस्तु बर्बाद नहीं की जातीरात की रोटियाँ बच जातीं तो उन्हें फेंका नहीं जाता गर्म करके एक एक सबको दी जाती।क...

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राइटिंग टेबल पर बैठी स्त्री - सपना सिंह का साक्षात्कार द्वारा नीलिमा By Neelima Sharrma Nivia

साक्षात्कारराइटिंग टेबल पर बैठी स्त्री किसी पारिवारिक सीन में नहीं अटती – सपना सिंह राइटिंग टेबल पर बैठी स्त्री किसी पारिवारिक सीन में नहीं अटती - सपना सिंह सपना सिंहसपना सिंह न...

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स्त्री मन के आवर्त्त By Vidya Singh

स्त्री मन के आवर्त्त डॉ. डिमरी के कमरे में जाने का इरादा बाँध कर निकले मेरे कदम दरवाजे पर ही ठिठक गए। अभी-अभी मैंने अपने कमरे को ताला लगा कर चाभी पर्स के हवाले की थी। अब मैं उस खिड़...

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हक की ज़मीन By padma sharma

हक की ज़मीन लगातार वारिश से पेड़ों पर अटी धूल छट गयी थी। चारों तरफ हरियाली छाई हुई थी सो सबका मन अपनी ही लौ में भरमा रहा था। सावन का महीना आते ही जगह-जग...

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जब मेरे पति शौर्य ने आकर बताया कि उनका प्रमोशन हो गया है और उनकी पोस्टिंग मैनेजर के पद पर जयपुर हो गई है तो मेरी खुशी का ठिकाना न रहा इसकी दो वजह थीं पहली ये कि मेरे पति असिस्टेन्ट...

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परवरिश By Sunita Agarwal

उस दिन फिर माँ बेटे में किसी बात पर झगड़ा हुआ था और इस झगड़े ने हर बार की तरह रौद्र रूप धारण कर लिया।माँ बेटे दोनों में जोरदार बहस हो रही थी।न माँ चुप होने को तैयार थी न ही बेटा।अंज...

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रजोनिवृत्ति-पूर्व पश्चात By Rama Sharma Manavi

स्त्री जीवन के दो अहम पड़ाव होते हैं-प्रथम रजोदर्शन, द्वितीय रजोनिवृत्ति।एक के बाद प्रकृति स्त्री को मातृत्व वहन करने की क्षमता प्रदान करती है एवं रजोनिवृत्ति के पश्चात प्रजनन...

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