I Hate Love - 16 in Hindi Love Stories by aruhi books and stories PDF | I Hate Love - 16

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I Hate Love - 16


जानवी आंटी को जवाब देते हुए,,,,,, नहीं आंटी ऐसी कोई बात नहीं है ,,,

और रही बात अंश को जूस पिलानेकी,,,,,तो यह बहुत लंबी कहानी है,,,,,किसी दिन फुर्सत में बैठ कर बताऊंगी,,,और फिर वह वहां से ,,,,जल्दी से ऑफिस जाने के लिए निकल जाती है, ,,,

*********

और ऐसे ही दो दिन बीत गए थे,,,, जानवी ना अंश से मिली थी ,,,,और ना ही ,,,, तो अंश से कोई बात की थी,,,,

और वहीं दूसरी तरफ़ अंश ,,,दो दिनों से यही सोच रहा था ,,,,की वाह ऐसा क्या करें की,,,,उसे भी मेरी तकलीफ़ का अंदाज़ा हो,,,

एक आइडिया आता है और फिर,,,वह जल्दी से ,,,अपना फोन निकाल कर,,उपयोग करें,,,किसी को फोन करता है,,,

********

कुछ देर बाद अंश जानवी को कॉल कर,,,,,,अपने केबिन में बुलाता है,,,

जानवी अंश के बुलाने पर,,,, परमिशन ले केबिन के अंदर ए जाती है

अंश जानवी को अपने केबिन में देख,,, तुम तैयार रहना,,,,आज हमें बिजनेस पार्टी में जाना है

.जानवी अंश के बातों का जवाब देते हुए ,, ,पर मुझे नहीं जाना ,, , जानवी इतना ही बोली थी ,,,, कि,,,जो इतनी देर से अपनी फाइल को परते हुए ,,जानवी से बात कर रहा था ,,,

फाइल को बंद कर,,,,,टेबल अर रखते हुए ,,,, जाने की तरफ देख ,,,उसकी बातों को काटते हुए,,,,, मैं तुमसे पूछ नहीं ,,,तुमेह बता रही है,,,,, और वैसे भी,,,,मुझे भी कोई शौक नहीं है ,,,,तुम्हें अपने साथ कहीं भी ले जाने का,,,,

और रही बात तुम्हें पार्टी में ले जाने की। ,,,,,,तो तुम मेरी बीवी हो ,,,,और दूसरी,,,तुम भी इस कंपनी में नौकरी करती हो,,,,तो मैं तुम्हें नहीं ले जाऊंगा,,,, तो क्या चपरासी को ले जाऊं,,,

जानवी ज्यादा बहेश ना करते हुए,,,,,ठीक है,,, मैं तैयार रहूंगी,,, टाइमिंग कितनी है,,,

जानवी के मुँह से हन सुन्न,,,,

8:30 बजे

जानवी अंश की बात सुन,,, ठीक है,,,और वहां से चली जाती है,,,

जानवी के जाते ही ,,,अंश के होठों पर रहस्य मयी मुस्कान आ जाती है😏😏

रात के 8:00 बजे,,, अंश अपनी कार में बैठा,,,, जानवी का आने का इंतजार कर रहा था,,,कि तभी आश की नजर गेट पर जाती है,,, जहां से जानवी चलते हुए,,, उसकी तरफ एक रही थी,,, अंश एक पल के लिए उसे देखता ही रह गया,,,,,क्योंकि वह बॉडीकॉन ब्लैक ड्रेस जानवी प्रति हद से ज्यादा अच्छी लग रही थी,,,

फ़िर अंश जल्दी से जानवी से नज़र हटा ,,, ख़ुद से। ,,,याह तुम्हारी ख़ूबसूरती ,,,,अंश के दिल में कभी जगह नहीं बनेगी कभी नहीं ,,,,,और फिर जानवी के अंदर बैठते ही अंश कार पार्टी प्लेस डोडा लेता है,,,,

कुछ देर बाद अंश की कर एक क्लब के बाहर रुकी है। ,,,,और फिर अंश कार से बहार आ,,,,, जानवी को बहार आने को कहता है,,,,

जानवी का अंश के कहने पर ,,,,कार से बाहर आ,,,,, क्लब को देखती है ,,,,तो खुद से ही,,,,, क्या पार्टी यहां ,,,,वाह भी बिजनेस,,, ,,

उसे डाल में कुछ काला लग रहा था,,, लेकिन वाह बिना कुछ ज्यादा सोचे अंश के पीछे-पीछे उस क्लब के अंदर जाने लगती है,,,

जानवी क्लब के अंदर पहूच देखती है तो वहां बहुत सारे लोग थे,,, लेकिन यह पार्टी देखने में कोई बिजनेस पार्टी नहीं लग रही थी,,,,

लेकिन फिर भी जानवी ज्यादा कुछ ना सोच ,,,, अंश की बातों पर यकीन कर ,,,,,वहीं उसी हॉल में रखे सोफे पर ,,,,अंश के साथ बैठ जाती है,,,,

और इधर अंश तिरछी नजरों से जानवी की हरकतों को देख जा रहा था,,,

और फिर अंश सोफे से उठ जानवी की तरफ देखते हुए,,,, तुम यहीं इंतजार करो ,,,,,मैं अभी आता हूं,,,, यह कह अंश वहां से चला जाता है,,,,,

जानवी को अब वहां अकेले बैठे अजीब लग रहा था,,, क्योंकि उसे जगह कोई और नहीं था,,,, सिवा एक लड़के के,,,,जो कब से जानवी का अपनी वासना भरी नजरों से घूर रहा था,,,,

और फिर जानवी अपने अजीबपन को छुपाने के लिए ,,,, अपने पर्स से फोन निकाल कर फोन चलाने लगती है ,,,,

कि तभी जानवी के पास एक वेटर आता है ,,,,,या फिर वो वेटर अपनी ट्रे जानवी के आगे बढ़ते हुए ,,,, मैम जूस

जानवी भी वेटर की बात सुन मुस्कुराती हुई,,,,, जूस को गिलास उठा अपने होठों से लगा लेती है,,,, क्योंकि जानवी को यहां आए लगभाग आधे घंटे से भी ऊपर हो गया था,,,,जिसका गला भी सुख रहा था,,,

और फिर जानवी जूस खत्म कर उस ग्लास को टेबल पर रख देती है,,,,और फिर से अपने फोन को चलाने लगती है

.या वहीं पास में बैठा हुआ लड़का जो कब से जानवी को घूर रहा था,,, उसका ग्लास रखते ही,,,, वाह इंसान अपनी रहस्मई मुस्कान से,,,,, किसी को फोन कर ,,,,,तुम्हारा काम हो गया ,,, अब तुम एक नहीं हो,,,,, यह कह वाह इंसान फ़ोन कट कर देता है,,,,

और यहां जानवी को फोन चलाते हुए अपनी आंखों के सामने अंधेरा चाहता हुआ महसूस हुआ,,,,😵😵 यह महसूस कर,,,जानवी झट से सोफे से खड़ी हो जाती है,,

क्योंकि उसे एहसास हो गया था ,,,,की ने कहा  किसी ने उसे नशा दे दिया है ,,,, क्योंकि वह घर से आने से पहले,,,, उसे कोई समस्या नहीं थी ,,,,और यहां अचानक ,,,, जूस पीते ही उसे ऐसा महसूस होने लगा था,,,,इसलिये उसे पता चल गया,,,, कि उसने जरूर किसी ने नशा दिया है,,,,

लेकिन किसने और कैसा नशा ,,,,याह   महसूस कर जानवी वहां से,,,,, जल्दी से जल्दी निकल जाना चाहती थी ,,,,,,क्योंकि उसे पता चल गया था,,,,,की यहां,,, उसके साथ कुछ बहुत बुरा होने वाला है,, ,,

इसलिए जानवी ,,,, जल्दी से उस सोफे से उठ,,,, अंश को ढूंढने लगती है,,, लेकिन अंश उसे कहीं नहीं मिल रहा था,,, और साथ में उसकी आंखों के सामने अंधेरा छाने लगता था ,,

इसलिए जानवी अपनी आंखों को खोले रखने के लिए वॉशरूम में जा अपनी आंखों पर ठंडे पानी के धब्बे मारने की सोचती ,, इसलिए जानवी जल्दी से वॉशरूम में जा ,,, तब खोल जल्दी जल्दी अपनी आँखों पर ठंडे पानी के छींटे मारने लगती है ,,,,, क्योंकि वह चाहती है कि ,,,जितनी जल्दी हो सके वह अंश के साथ यहाँ से निकल जाये,,,
कि तभी उसका एहसास होता है ,,,की कोई उसके पीछे खड़ा है ,,,याह ऐसा होता है ,,,जानवी आईने में देखती है,,,, तो उसके पीछे कोई और नहीं अंश खड़ा था ,,,,,

जिसे देख जानवी जल्दी से पीछे मुड़ ,,,,तुम कहाँ थे,,,, अंश ,,और फिर  जल्दी से अंश का हाथ पकड़,,उसे अपने साथ वॉशरूम से बहार ले जाने लगती है,,,,

अंश जानवी को ,,,,,यूं खुद को पकड़,,,बाहर ले जाता देख ,,,वहीं खड़ा हो​ जानवी का हाथ कस के पकड़ अपनी तरफ खींच लेता है ,,,और फिर उसकी आंखों में देखते हैं ,,,, बुरी मुस्कान करते हुए,,,,क्या हुई पत्नी,, तुम इतना घबरा क्यों रही हो,,,

क्या तुम्हें किसी ने ड्रग्स से दिया है,,,,

और इधर जानवी अंश की बात सुन,,,,उसको तो एक तक देखती रह जाती है ,,,,,उसे तो समझ ही नहीं आता कि अश का कहने का क्या मतलब है ,,,,,,,

क्या जो उसे नशा दिया है ,, ,वो एक किस्मत का ड्रग्स है ,,,,,और ये अंश ने ही दिया है ,,, लेकिन क्यों ,,,,वो उसके साथ क्या करना चाहता है ,,,,अब उसे घबराहट होने लगी थी,,,,, अंश के इरादे से,,,, कि तभी दोबारा अंश की आवाज आती है,,,,,क्या हुआ पत्नी क्या सोच रही हो ,,,,याही ना कि मैं तुम्हारे साथ क्या करुंगा, तो तुम्हें सुबह सब पता चला जाएगा,,, जब तुम खुद को किसी और की बाहों में पाओगी,,,,,

इस,वक़्त  अंश के चेहरे में एक अजीब सी मुस्कुराहट थी ,,,,,😏

अंश की बातें और उसकी मुस्कुराहट देख,, जानवी ना चाहते हुए भी उसकी आँखों में नामी उतर आती हैं,,,,, 😢😢

अंश जानवी के दर्द पर मरहम लगाने की बजय नमक छिड़कते हुए,,,, अरे अरे आर ओ मत ,,,इसे बचा कर रखो ,,,,अभी तो तुम्हें कैल रोना है ,,,,अपनी बर्बादी पर,,,,

की तभी जानवी अंश की बातें सुन्न ,,,उसे धक्का दे वॉशरूम से बाहर जाते हुए ऐसा कभी नहीं होगा,,,, यह बोलते हुए,,,,जानवी पूरी तरह आधी रही थी ,,,,क्योंकि अब जानवी पर नशा चढ़ने लगा था,,, , उसकी पलकें बार-बार बंद और खुल रही थी,,,

और फिर जानवी अपने लड़खड़ाते कदमों से वॉशरूम से बाहर जाने लगती है,,, वाह सिद्ध खड़े होने की ,,,,,,पूरी कोशिश कर रही थी ,,,, जानवी दिवाल का सहारा लेते हुए ,,,क्लब से बाहर जाने की कोशिश करती है ,,,की तबी वहां लदखदा जमीन पर गिरने लगती है,, ,,, की तभी कोई उसे अपनी बहों मैं थाम लेता है,,,खुद को किसी को पकड़ता देख,,,,जानवी अपनी नजर ऊपर कर,,,उस इंसान को देखती है,,,तो वाह कोई और नहीं वही इंसान था,,,,,जो कुछ देर पहले उसके साथ सोफे पर बैठा था, ,,, उसे देख जानवी उसे इंसान से खुद को छुड़ाने लगती है,,,, तभी पीछे से आवाज आती है,,,

तुम्हें कैसी लगी मेरी बीवी,,,,, अच्छी ना,,,तो आज रात के लिए तुम्हारी,, इसे बहुत शौक है ना ,,,,,,दूसरे के साथ खेलने का,,,,, अब इसके साथ भी वही खेल,,खेला जाएगा,,

याह सुन जानवी की आँखों से लेबा लेबा आंसू बहाने लगते हैं ,,,,,😭😭😭

तभी जानवी की आंखें बंद होने लगती हैं,,,और वाह ज़मीन पर गिरती है,,,,उसे पहले ही वह इसान  अपनी बाहों में उठा,,,कमरे की तरफ जाने लगता है,,,,

बिहोसी के हालात में भी,,,,, जानवी के आंखें,, के कोने से आंसू बह रहे थे,,,,,

आज के लिए बस इतना

तो देखते हैं क्या जाने अंश के बदले से बच पायेगी और फिर अपनी मोहब्बत में अपनी जिंदगी तबाह कर देगी,,,, क्या करेगी जानवी जाने के लिए पढ़ते रहे,,,, दर्द मोहब्बत

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