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गुज़ार लूँ कुछ पल

कुछ पल युही गुज़ार  लूं 
तेरे संग 
फिर पता नहीं तुम रहो या ना रहो 
जिंदगी से बहुत कुछ सीखा हैँ मैंने 
 पता नहीं कब, कहा आजमाइश करनी पड़ जाए
सब छोड़ कही दूर बस जाऊ 
पर कहाँ जाऊ 
ये सोच दिल बैठ सा जाता हैँ 
कहने को तो सब हैँ मेरे पास 
वक़्त आया तो पुरे contact list मे एक 
ऐसा कोई ना मिला 
जिससे हाले दिल बयान कर सकू
हसने हँसाने के लिए बहुत हैँ लोग 
पर आंशू कोई पोछ ले 
ऐसा हैँ कहाँ कोई 

वक्त का खेल है सब
कभी उसके पास तो कभी मेरे पास
यूं ही सिलसिलो का दौर चलता रहा
कब कैसे हालात बदल गए पता ही नहीं चला
अक्सर कहती थी मैं उनसे
 मत कहो दूर-दूर होने के लिए
सच में एक दिन चली जाउंगी अफ़सोस के अलावा शायद कुछ ना रहे
 कुछ दिन युही गुज़र गए 
महसूस तो उन्होंने मुझे किया ही होगा 
पर कम्बख्त यह imagination की दुनियां भी अजीब होती हैँ 
हमने सोचा की कभी मेरी कमी का एहसास तो हो उन्हें 
पर वो मस्त अपनी दुनिया मे 
जीए जा रहे हैँ 
अब यह दिल मज़बूत होगया हैँ 
उसके इतने दर्द के बाद 
कुछ वक़्त ही तो माँगा था, पर अब वो वक़्त किसी और का होगया 
युही दिल को दुखानी ही थी 
तो कह देते 
कभी दिल तुमसे लागते ही नहीं 
हर पल मैं खाश हूँ जताते जताते 
कब पराये करने लगे यह खबर ही ना हुई 
चल कोई नहीं तू खुश हैँ ना??
मुझे यू अकेला कर के 
मैं जहाँ थी फिर वही आ खड़ी हुई 
और उन्हें लगा मैं तो समझदार हूँ 
सब समझ जाउंगी 
तुम्हे पता हैँ कभी कभी मैं यह सोचती हूँ 
के तुमसे कही ज़्यादा अच्छी तुम्हारी यादें हैँ जो मुझे रुलाती तो हैँ पर कभी मुझे छोड़ कर नहीं जाती 
यह तेरी यादें ही तो हैँ 
जो अब तक मैं खुश हूँ 
मेरा दिल खुश हैँ 
वरना तुमने तो कब का मार ही दिया था 
तेरी हर यादों पर मेरा हक़ हैँ जो कभी गुज़ारे थे तेरे संग 
फिर कभी मेरी जिंदगी मे आना 
नहीं 
शायद मैं तुमसे कही, बहुत दूर चली जाउंगी 
प्यार तो सिर्फ मैंने किया था 
तुमने तो सिर्फ अपने कुछ दर्द को मिटाने के लिए 
दिल लगाया था 
और मैं बेवकूफ़ मोहब्बत समझ बैठी 
चल कोई नहीं 
 तुमने झूठा ही सही पर 
कुछ पल बहुत खूबसूरत गुज़ारे मेरे संग 
💔💔
नफरत कभी होंगी नहीं तुमसे 
पर तुम्हारे दिए आंशू को 
मैं भूल नहीं सकती 
खुद की तड़प, रात भर तेरा इंतजार 
नहीं भूल सकती 
तुम्हारी ignorance, तुम्हारी दुसरो के साथ 
मस्ती वाली बातें 
माफ़ कभी नहीं करूंगी तुम्हे 
अपनी इस हालत के लिए 
तेरी खुशियों के लिए
खुद को खुश रखना भूल गयी 
कुछ पल खूबसूरत गुज़ारे थे 
ये सोच कर खुद से नफरत सी होती हैँ 
तुम्हे पहचाना नहीं 
भूल गई मुझसे 
...........
जा तू खुश रह 
तेरी ख़ुशी मे जो आंशू होंगे 
वो मेरे दिल के तोड़ने के लिए होंगे 
.....
मेरी तड़प होंगी तुझे 
पर मैं नहीं रहूंगी 
लाख कोशिसो के बाद भी 
तू मुझे देख नहीं पायेगा 
.....
तू मेरी एक ऐसी भूल हैँ 
जो भूले ही नहीं जाती 
....
उन्हें लगता हैँ 
के दिल दुखा कर 
खुदा से माफ़ी मांग लूंगा 
पर जनाब दिल दुखा कर 
सजदे क़ुबूल नहीं होते 
.....
मैं तुमसे उस लम्हो मे 
मिलना चाउंगी 
जहाँ तुम्हारी आंखे सिर्फ मुझे तलाशेंगी 
मेरी एक आवाज़ को तरसोगे 
पर मैं नहीं होंगी...

मुझे याद हैँ मैं तुमसे अक्सर कहती थी 
मेरा दिल मेरा तो हैँ 
पर धड़कता सिर्फ तेरे लिए हैँ ❤️❤️
मेरे दिल की तड़प 
मेरा सुकून तुम हो...

पर मैं कितनी नादान थी ना 
के तुमसे दिल लगा बैठी 
तुम पर खुद से ज़्यादा यकीन करने लगी 
....
अब तुमसे शिकायत भी क्या करू 
जब तुमने मुझे रोते हुए 
मेरे हाथो को उस पल मे 
छोड़ दिया
जहाँ मुझे तुम्हारी ज़रूरत थी 
मेरी तड़प, मेरे आंशू 
नहीं समझ पाए 
तो तुम मेरे अल्फाज़ या
मेरे साथ गुज़ारे कुछ पल कैसे समझोगे