Mahila Purusho me takraav kyo ? - 93 in Hindi Human Science by Captain Dharnidhar books and stories PDF | महिला पुरूषों मे टकराव क्यों ? - 93

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महिला पुरूषों मे टकराव क्यों ? - 93

अभय के पांवो से पीठ सटाकर बैठी बदली कभी पीठ हटाती है कभी फिर से छुआ देती है । जो बदली अपने आपको अभय के साथ खुद को सेफ महसूस नही समझ रही थी ..अभय पर शक कर रही थी कि कहीं रास्ते मे उसके साथ कुछ ऊंच नीच न होजाये..अब खुद अभय से नजदीकी बढा रही है । अभय को बदली का स्पर्श अच्छा तो लग रहा है ..किन्तु वह खुदको संयमित करना चाहता है ..वह नही चाहता कि वह खुद भी बहक जाये ..अभय को अपनी पत्नी से किया वादा याद आजाता है ..अभय ने अपनी पत्नी केतकी से वादा किया था ..केतकी तुम्हारे सिवाय मेरे जीवन मे कोई और लड़की नही आयेगी । अभय ने फिर से बदली से कहा ..बदली मैने कहा न आपसे .! आप कुछ भी करलो..मेरा मन विचलित नही होने वाला ..हां तेरी हरकतो से मुझे केतकी की याद आने लगी है .. बदली खुदको संभालते हुए एक सीढी नीचे उतरकर बैठ जाती है ।
बदली के मन मे कुछ चल रहा है .. बदली विचारों मे खो गयी ..उसे अपनी महिला साथी के कहे वे शब्द याद आने लगे ..मर्द जात होती ही ऐसी है महिला दिखी कि लार टपकने लग जाती है । थोड़ा हंसकर बात करले तो उस पर मर मिटने को तैयार होजाते हैं । मर्द हमेशा महिला के लिए तैयार ही रहता है । किन्तु यहां तो सब उलट हो रहा है । बदली के दिमाग मे अपराध का जन्म होजाता है । वह योजना बनाने लगती है .. मुझे अभय को पाना है आज जो अवसर मिला है शायद दुबारा न मिले ..
बदली के मन में एक विचार आरहा था और एक जारहा था ।
धीरे धीरे अंधकार छट रहा था , भोर हो रही थी । पेड़ पौधे ,खंडहर की सीढियां, शिला खंड दिखने लगे थे । अभय ने बदली से कहा अब भोर हो गयी है हमे बाहर चलकर देखना चाहिए.. बदली और अभय ..अगले पल उस खंडहर मे थे ..अभय चारों तरफ नजर दौड़ाकर देख रहा था .. वहां कुछ कपड़े ..शराब की खाली बोतल यहां वहा पड़ी थी .. एक छोटा प्लास्टिक बैग पड़ा था ..बदली ने उसे उठाया और चेक करने लगी ..उसमें कुछ कागजात नख्से थे । दूसरी परत मे छोटी छोटी प्लास्टिक की थैलियां थी । अभय ने कहा इन सबको अपने कब्जे मे करलो । जमीन पर कुछ मोबाइल सिम टूटी पड़ी थी ..अभय ने उनको उठाकर बदली को दे दी ..बदली ने वहां का विडिओ बना लिया ..कुछ फोटो भी ले लिए । बदली ने कहा ..जीजू मेरे फोन की बेट्री डिस हो रही है .. अभय ने अपना फोन निकाला उसे चैक किया ..वह पहले से ही डिस हो चुका था । अभय ने कहा अब आपके फोन से बाहर का फोटो भी लेलो ..अपनी गाड़ी का फोटो भी लेलो ।
दोनो बाहर आगये बदली ने फटाफट बाहर चारो तरफ के फोटो लिए विडिओ क्लीप भी बनाया ..बदली का फोन भी बंद होगया । अपनी गाड़ी को बदली देख रही है जो जल चुकी थी ..
अभय ने कहा बदली ! अब तो हमे खुद ही चलना होगा ..क्योंकि आर्मी की टोली शायद हम तक न पहुंच पाये .. बदली ने कहा जीजू प्यास भी लगी है ..पहले चाय पानी ? अभय ने कहा ..बदली चाय तो दूर दूर तक नही मिलेगी ..यह बीहड़ है ..हां ! पानी आसपास कही मिल सकता है ..बदली बोलती है मैं खंडहर पर चढ़कर चैक करती हूँ ..तब तक आप अपनी जांच पड़ताल ओर कर लीजिए..बदली खंडहर पर चढ गयी ..उसे दूर धुंआ उठता दिखाई दिया ..आसमान मे पेड़ो के ऊपर पंछी उड़ते हुए दिखाई दिये ..उसने अनुमान लगाया यहां पास ही कोई गांव है ..महिलाओ ने अपना चुल्हा जलाया होगा उसकी धुंआ आसमान मे है ..