"मुझे तुमसे गले मिलना है कुछ इस तरह..
जब तक सांसे एक दूसरे में खो ना जाए...
जहां शब्दों की नहीं सिर्फ...
धड़कनों की आवाज बचें,
और वक्त भी रूककर देखें कि...
कैसे दो लोग एक दूसरे में समा जाते हैं...
कैसे दो लोग एक दूसरे में...
अपना घर बना लेते हैं...
❣️❣️
- Soni shakya