My Meaningful Poem...!!!
यारो देर लगती है मगर
समझ में तो आ ही जाता है
बेजान आईनें को तो कुछ
भी छिपाना तक आता ही नही
यहाँ कौन क्या है कैसा है
बेशक यह नजर आ ही जाता है
जी दिखावा तो करते हैं कई
अपने अझीझ लोग अपनेपन का
जी हां पर वक़्त आने पर
सच का पता तो चल ही जाता है
जूठ तो लाख परदे में भी
जूठ है,सच से ताब मिला न पाता
प्रभुजी तो दयालु ही है ना
बेखौफ बेतकल्लुफ खुशफहमी में
ग़लतफ़हमीओ का गुलाम
गुनाह पर गुनाह करता ही जाता
प्रभूजी कहाॅ मौजूद नही है
बात इतनी-सी बंदा समझ न पाता
-Rooh The Spiritual Power