song....
हो-हो, पंख होते तो उड़ आती रे, रसिया
ओ ज़ालिमा, तुझे दिल का दाग़ दिखलाती रे
हो-हो, पंख होते तो उड़ आती रे, रसिया
ओ ज़ालिमा, तुझे दिल का दाग़ दिखलाती रे
यादों में खोई पहुँची गगन में
पंछी बन के सच्ची लगन में
हो, यादों में खोई पहुँची गगन में
पंछी बन के सच्ची लगन में
दूर से देखा मौसम हसीं था
दूर से देखा मौसम हसीं था
आनेवाले तू ही नहीं था, रसिया
ओ ज़ालिमा, तुझे दिल का दाग़ दिखलाती रे
हो-हो, पंख होते तो उड़ आती रे, रसिया
ओ ज़ालिमा, तुझे दिल का दाग़ दिखलाती रे
किरणें बन के बाँहें फैलाई
आस के बादल पे जा के लहराई
किरणें बन के बाँहें फैलाई
आस के बादल पे जा के लहराई
झूल चुकी मैं वादें का झूला
झूल चुकी मैं वादें का झूला
तू तो अपना वादा ही भूला, रसिया
ओ ज़ालिमा, तुझे दिल का दाग़ दिखलाती रे
हो-हो, पंख होते तो उड़ आती रे, रसिया
ओ ज़ालिमा, तुझे दिल का दाग़ दिखलाती रे
हो-हो, पंख होते तो उड़ आती रे, रसिया
ओ ज़ालिमा, तुझे दिल का दाग़ दिखलाती रे