खुद को बिछा दूं
खुद को मिटा दूं
जो इस पर तेरा कुछ बनता है
मैं अपना बना बनाया सब कुछ लुटा दूं।
तुझको भुला दूं
खुद को सजा दो
जो इसपे मेरा कुछ बनता है तो भी मैं यह ना लूं।
तूने कोई नाम नहीं दिया
मैंने कोई नाम नहीं लिया
पर यह जो दिल में है
गहरा सा इसे नाम क्या दूं.....?
खुद को मिटा दूं
खुद को बना लूं
तेरे बिना मैं क्या पा लूं,क्या पा लूं.....??