तुम.. ♥️
...जो खाबोमे अक्सर आते थे...
आज सामने आये हो...शायद...
कई बरसोसे नजरको तलाश थी..रुह बेकरार थी..
शायद वो तुमही हो जिसे मेरा दिल पाना चाहता था..
कीतनी बार सोचा था..तुम होते तो ये होता...
तुम होते तो ऐसा करते....
पर जब तुम सामने हो तो दिलमे एक वहमसा है..
के तुम"वोही"..हो के नही..??
कैसे कहु मुझे यकीन अपने दिलपे है..
जो तुम्हे" अपना" समझ. बैठा है...!!
ओर अपना बनानेको कह रहा है...
अब तो बात इस हदतक है...
के भगवान करे "वो" ..तुमही..हो
जो सिर्फ.."मेरे अपने" हो..|
वृषाली **