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कभी-कभी लगता है, मैं सबकी जरूरत हूँ, पर किसी की आदत नहीं। जब किसी को मेरी जरूरत होती है, तो मैं हर हाल में उनके साथ होती हूं - बिना सवाल, बिना किसी शर्त।, लेकिन जब मुझे किसी की जरूरत होती है, तो लोग साथ तो होते हैं... मगर साथ होकर भी साथ नहीं होते।,😔 लोगों को अपना छोटा दुःख भी पहाड़ लगता है,, और दूसरों का बड़ा दुःख भी... बस एक बात।, कभी कोई नहीं पूछता - तुम ठीक हो ना ? जैसे मेरा दुःख , मेरी थकान, मेरा अकेलापन - कोई मायने ही नहीं रखता।,🥺 मैं अक्सर मुस्कुराती हूं... क्योंकि मुझे रोते हुए देखना कोई नहीं चाहता।, और जब सच में टूट जाती हूँ, तब यही लोग कहते हैं : तुम तो strong हो, ना!😥 पर मेरा strong होना , मेरी choice नहीं, मजबूरी है... क्योंकि मेरा दर्द सुनने वाला कोई नहीं होता।, मैं सबके लिए हूँ... पर कोई मेरा नहीं होता। शायद इसलिए अब खुद से बातें करना, सबसे सच्चा साथ लगता है।।, 🌼🌿😊
"छोटा सा दीया भी बड़ी से बड़ी रात को रौशन कर सकता है – बस उसमें जलने का हौसला होना चाहिए।" "दीया कहता है – खुद जलो ताकि दूसरों को राह दिखा सको।" - Priyanka Singh
🌺 Sanatan ABCD: A to Z 🌺 🔤 A to Z of Sanatan Sanskriti 🔤 (Values, Gods, and Concepts) A – Aarti (आरती) – Prem se Bhagwan ki seva. B – Bhakti (भक्ति) – Ishwar ke prati shraddha aur samarpan. C – Chanting (जप) – Naam jaap se mann ki shuddhi. D – Dharma (धर्म) – Jeevan ka satya marg. E – Eshwar (ईश्वर) – Sarvavyapi Parmatma. F – Faith (श्रद्धा) – Vishwas bina bhakti adhoori hai. G – Gita (गीता) – Jeevan ka margdarshak granth. H – Hanuman (हनुमान) – Shakti aur bhakti ka prateek. I – Indriya Nigrah (इंद्रिय निग्रह) – Sanyam ka saadhan. J – Jagannath (जगन्नाथ) – Vishw ke palankarta. K – Krishna (कृष्ण) – Prem, leela aur gyaan ke devta. L – Lakshmi (लक्ष्मी) – Dhan aur samriddhi ki devi. M – Mantra (मंत्र) – Shakti aur urja ka srot. N – Narayan (नारायण) – Vishnu ka anant roop. O – Om (ॐ) – Srishti ka pratham naad. P – Parvati (पार्वती) – Shakti aur mamta ka svaroop. Q – Quietude – Antar mukh hone ki shanti. R – Ram (राम) – Maryada Purushottam ka jeevan marg. S – Shiv (शिव) – Vinaash aur utpatti ke devta. T – Tulsi (तुलसी) – Shuddhi aur pavitrata ka prateek. U – Utsav (उत्सव) – Har parv mein anand aur bhakti. V – Veda (वेद) – Sanatan ka aadi gyaan. W – Wisdom (बुद्धि) – Vivek aur gyaan ka uphaar. X – X-factor = Xara Energy – Astitva ke parmatva ki urja. Y – Yog (योग) – Sharir, man aur aatma ka mel. Z – Zero – Shunya se hi srishti ka aadi hai.
Barsat ke mausam me Tanhai ke alam me tu ghar se nikal aana पकौड़े साथ लाना साथ में बैठकर हम खायेंगे हम खायेंगे जो वो मांगे उससे भगाएंगे हो हो ओ।।।। - Priyanka Singh
Pyar Mera adhura sa lagta hai tere bina ye jag v na pura lagta hai ... Mahi ve.... - Priyanka Singh
Naina re tu hi bura tujhse bura na koye ... khud hi dil ka rog lagaye khud hi baitha roye....
💔 "Kadar Kab Ki Khatam Ho Gayi..." 💔 तू पास होकर भी दूर सा रहता है, हर बात में मुझे ही मजबूर सा कहता है। तेरे लिए मैं क्या हूं, ये कभी जताया नहीं, और मैंने हर दर्द तुझसे छुपाया भी सही। मैं खामोश रही, तूने आदत समझ ली, मैं सब सहती रही, तूने मजबूरी समझ ली। तेरे एक लफ्ज़ के लिए तरस जाती हूं, और तू रोज़ मेरे जज़्बातों को ठुकरा जाता है। तेरी दुनिया में शायद मेरी कोई अहमियत नहीं, मैं तुझमें सब देखूं, पर तुझमें मेरा कोई वजूद नहीं। तेरे लफ़्ज़ों में प्यार की मिठास नहीं, तेरी आँखों में मेरे लिए कोई प्यास नहीं। मैंने अपना हर ख्वाब तुझ पर कुर्बान किया, तेरे हर हुक्म को खुदा का फरमान लिया। फिर भी तूने कभी ये महसूस न किया, कि मैंने खुद को मिटा कर तुझे जिया। तेरी बेरुखी अब आदत सी बन गई है, तेरी खामोशी अब सज़ा सी लगने लगी है। मैं तो बस तेरे साथ की तलबगार थी, मगर तूने तो मेरी रूह तक से इनकार किया। एक दिन आएगा जब मैं भी खामोश हो जाऊंगी, तेरे हर सवाल का जवाब ख़ुद ब खुद बन जाऊंगी। तब तुझे मेरी बातें याद आएंगी, पर शायद तब मैं तेरी नहीं, सिर्फ अपनी रह जाऊंगी
💔 मेरा कोई नहीं... 💔 कभी ज़माने से पूछा, क्या मेरा कोई है? हर बार जवाब आया — "तू ही काफी है।" पर इस काफी होने की कीमत बहुत भारी थी, कभी मुस्कान के पीछे आँसू थे, तो कभी तन्हाई की सवारी थी। कभी मां-बाप के घर में एक प्यारी सी गुड़िया थी, हर किसी की दुलारी, सबसे खास थी। पर शादी के बाद वही गुड़िया "बोझ" कहलाने लगी, जिसने अपने सपने तोड़े, वो ही इल्जाम खाने लगी। पति का साथ था, पर बिना आत्मा के रिश्ता, शब्द तो थे, पर उनमें न प्रेम था न दुआ। हर दिन हिसाब, हर पल एक ताना, जैसे जीवन एक गिनती बन गया हो पुराना। सास-ससुर ने अपनाया नहीं, बेटियां भी मासूम हैं, समझती कुछ नहीं। न कोई बांह है जो थाम ले जब मैं टूटी हूं, न कोई आंख जो समझे जब मैं चुपचाप रोई हूं। रिश्तेदार बस नाम के रह गए, मुसीबत में सबके दरवाज़े बंद हो गए। सहेलियां अब टाइमपास हैं सिर्फ सोशल मीडिया पर, असल ज़िन्दगी में तो जैसे मैं थी ही नहीं उनके घर। घर में हूं, पर घर जैसी कोई चीज़ नहीं, चार दीवारों में सिर्फ खामोशी है और मेरी सिसकती नींव। कोई नहीं जो पूछे, "तू ठीक तो है?" कोई नहीं जो बोले, "मैं हूं तेरे साथ चलने को।" अब किताबें मेरा सहारा हैं, कलम मेरी सच्ची यार बनी हैं। कागज़ पर हर रोज़ अपनी तन्हाई उतारती हूं, हर शब्द में थोड़ा-थोड़ा खुद को संवारती हूं। लोग कहते हैं — "तू बहुत मज़बूत है", पर क्या कभी किसी ने अंदर का टूटा हुआ हिस्सा देखा है? मजबूती का दिखावा है ये बस, वरना अंदर तो रोज़ एक जंग होती है खास। अब शिकवा नहीं, शिकायत नहीं, बस सच मान लिया है — मेरा कोई नहीं। पर हां, मैं खुद की अपनी हूं, और यही सबसे बड़ी बात है जो आज सीखी हूं। कभी लगे अगर इस भीड़ में खो जाऊं, तो याद रखूं — मैं अपनी सबसे अच्छी साथी हूं। क्योंकि जब सबने छोड़ा, तब भी मैं अपनी ही बाजू बनी रही, जब सबने कहा — "मेरा कोई नहीं", मैंने कहा — "मैं ही काफी Priyanka Singh
kvi kvi lagta h ki sabkuch chhorkar bahut dur chali jau fir yaad aati h ki mai ek maa v hu ....
हर सोमवार, शिव मेरे साथ! 🔱 बोलो हर हर महादेव! 💥 शिव से ही शिव तक का सफर 🙏 व्रत भी है, विश्वास भी है... यही है मेरी भक्ति की राह 💫 सोमवार = शिव आराधना का त्यौहार ❤️ - Priyanka Singh
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