I Hate Love - 17 in Hindi Love Stories by aruhi books and stories PDF | I Hate Love - 17

The Author
Featured Books
Categories
Share

I Hate Love - 17

आंसू बहाने लगते हैं ,,,,,😭😭😭

तभी जानवी की आंखें बंद होने लगती हैं,,,or वाह ज़मीन पर गिरती है,,,,उसे पहले ही उस इंसान ने अपनी बाहों में उठा कमरे की तरफ जाने लगता है,,,,

बिहोसी के हालात में भी,,,,, जानवी के आंखें,, के कोने से आंसू बह रहे थे,,

***********

आब आगे

अगली सुबह जब जानवी अपनी आंखें खोलती है,,,,तो खुद को बिस्तर पर एक चादर के साथ लिपटी हुई पाती है,  

Or fir वाह बिस्तर पर उसी तरह लेते हुए,,,, कल रात के बारे में सोचने की पूरी कोशिश करती है,,,,लेकिन उसे कुछ भी याद नहीं आता,,,, सिवाए अंश दुयारा कहे गए ये सब्द,,,, की ,,कैसी लगी मेरी बीवी ,,,,आज रात के लिए तुम्हारी ,,,

और फ़िर उस आदमी का उसे अपनी बहो मैं उठा लाना,,,,, यह सब याद कर जानवी की आंखों में आंसू आ गए,,,, लेकिन उसने अपने आंसू को बहने नहीं दिया। ,,,उसे ऐसा महसूस हो रहा था। ,,, कि जैसे किसी ने उसके दिल में,,,लोखों सुइंया चूमो दी हो ,,,,,

, वो इसे आगे याद करने की पूरी कोशिश कर रही थी ,,,, लेकिन उसे कुछ याद नहीं आ रहाथा,,,,, अब ज्यादा याद करने की कोशिश से उसके सर में भी दर्द होने लगता है ,,,, जिसे जानवी अपने सर पर हाथ रख बिस्तर पर बैठ जाती है ,,,,,
की तभी उसकी नजर सामने सोफे पर बैठे अंश पर जाती है,,,, जो सोफे पर बैठा लैपटॉप को चला रहा था,,,,

.उसे इस तरह देख जानवी की आंखों में आंसू आ जाते हैं ,,,,,,,,, जिसने कुछ देर पहले बहने से रोका था ,,,, उसे नहीं पता कि आंसू क्यों हैं ,,,,लेकिन हां आंसू उसे दर्द दे रहे तुझे,,,,

और इधर अंश जो लैपटॉप में अपना काम कर रहा था ,,, जानवी को उठता देख लैपटॉप को सोफ़े पर रख ,,, जानवी के पास आते हुए,,,, कैसी  रही कल की रात ,,,, बीवी

क्या कल की रात तुमने आनंद लिया ,,,,नहीं किया तो बता सकती हो ,,,,मैं कोई या भी इंतेजाम करा सकता है,,,, हां कहते हुए अंश उसके चेहरे के बिल्कुल नजदीक आ जाता है,,,उसकी आंखों में आंसू देख उसकी तरह ,,

इधर अंश की बातें सुन ,,,,जानवी अपनी आंखें बंद कर लेती हैं।,,,, जिसकी उसकी आंखों में भारी आंसू ,,,,उसके गालो पर लुधक जाते हैं,,, वाह अपनी आंखें बंद कर जैसे सभी दर्द को अपने अंदर समा लेना चाहती हो,,

,, क्योंकि वो सब कुछ सह सकती थी,,,, लेकिन कल रात जो अंश ने उसके साथ किया वो नहीं ,,,क्या हुआ बीवी तुम्हें बुरा लग रहा है,,, तुम्हें मुझ पर गुस्सा आ रहा है,,और फिर चिखते हुए,,,तो ये सब तुम्हें मेरे करीब आने से पहले सोचना चाहिए था,,,,

तुम्हें क्या लगा तुम मेरे करीब आओगी ,,और मैं तुम्हें आसान से छोड़ दूंगा,,,, तुमने मेरी जिंदगी में वह जगह लेनी चाहिए, ,,,जो सिर्फ मेरी आलिया का था ,,,,,सिर्फ आलिया का ,,,,ना कि तुम्हारा,,,,, यह कहते हुए अंश जानवी के गालो पर अपनी पकड़ बना लेता है,,,, और फिर अपनी पकड़ मजबूत करते हुए,,अब पता चला की ,,,,हमें कितना बुरा लगता है ,,,,जब कोई ,,,तुम्हें,,, तुम्हारी मर्जी की बिना छूटा है,,,तुम्हारे करीब आता है ,,,,

इसीलिये तो मैंने ये प्लान बनाया,,,,कि तुम्हें वही ड्रग दे ,,,किसी और के बिस्तर पर भेज दिया,,,, 

ताकि तुम भी नशे में ,,, पूरी रात किसी गैर मर्द की बाहों में बिताओ,,,

बहुत एटीट्यूड है ना तुम ,,,, अब टूटा तुम्हारा एटीट्यूड और घमंड ,,,, आप पूरा हुआ मेरा बदला ,,,,, यह  कह अंश वहां से जाने लगता है,,,,

जानवी जैसे-जैसे अंश की बातें सुनती जा रही थी,,,,,, उसका दिल टूटता जा रहा था ,,,,अब उससे अंश की और बातें सुनी नहीं जा रही थी

उसे इस वक्त अपने दिल में इतना दर्द हो रहा था,,,, कि ये दर्द उससे बर्दाश्त नहीं हो रही थी,,,,, अंश की हर एक जाति,,,, गुस्सा धोखा वो अपनी मोहब्बत में सहने को तैयार थी,, ,, लेकिन अपने जिस्म के साथ खिलावद नहीं,,,, अपनी इज्जत खोने के बाद जानवी अब पूरी तरह टूट चुकी थी,,,,,,उसमें बच्ची कुछ भी हिम्मत अब जवाब दे चुकी थी ,,,,वाह कब अंश के मोहब्बत के चलते खुद को तबाह करती चली गई ,,,,उसे पता ही नहीं चला ,,,, आज वो पूरी टूट चुकी थी ,,,, आज अंश ने उसे उस मोड़ पर खड़ा कर दिया ,,,, जहां से उसके पास कोई रास्ता नहीं था ,,,,सिवाय मोत्त के ,,,,

याह सोच जनवी चादर समेटे झाट से बिस्तर से उठ जाती है,,,,और फिर जाते हुए अंश को देख उसे रोकते हुए,,,

रुक जाओ अंश ,,,,,अभी तुम्हारी बदला का खेल ख़तम नहीं हुआ है,,,,,, अब तो मेरी बारी है,,, तुम्हें बदला लेना था, ना

तो मुझे बताओ मैं पूरा कर देती तुम्हारा बदला ,,,, जैसा मैंने तुम्हारी हर चाहत पूरी की ,,,,उसी तरह ये चाहत भी पूरी करती ,,,,, तुम्हें मुझसे बदला लेना था ना ,,,,, अब तुम्हारा बदला पूरा होगा ,,,,याह कहते हुए ,,,जानवी झट से फलों की टोकरी से चाकू उठा,,, अपनी कलाई से लगादेती है,



,,, और इधर जानवी की बात सुन्न अंश पीछे मुड़ जानवी को देखा है ,,,,,,तो जाने के हाथों में चाकू देख अंश एक पल के लिए डर जाता है

और फिर अंश हकलाते हुए,,,, याह क्या कर रही हो ,,,जानवी ,,,, मैंने कहा छोरो ,,,, क्योंकि उसको पता था ,,,,की जानवी कैसी है ,,,,एकदम किसकी हुई ,, ,,,,जिद्दी कब क्या कर जाए,,,,, कुछ नहीं पता,,,और फिर जानवी की तरफ अपने कदम बढ़ाने लगता है,,

जानवी अंश को अपनी तरफ आता देख ,,,,,वही रुक जायो अंश ,,,,,आगे बढ़ने की सोचना भी मत ,,,,,तुम्हें क्या लगेगा,,,, कि तुम मेरे सौदा करोगे ,,,और मैं चुपचैप देखती रहूंगी तुमने इतने दिन से जो भी किया मैं सब सह रही ,,,

, क्योंकि मैंने तुमसे वादा किया था ,,, कि मैं हमेशा तुम्हारा साथदूंगी ,,, तुम्हारे दुख सुख मैं तुम्हारा साथ रहूंगी ,,, तुम सैय्यद भूल गई मैं नहीं ,, हां कहते हुए जानवी ,,, झाड़ से चाकू को अपनी कलाई पर,,, रख,,, उसे अपनी तरफ खींच देती है, ,,,जिससे एक गहरा घाव बन जा जाता है ,,,या उसके कलाई से खून बहने लगता है,,,

खून बहता देख अश जल्दी से ,,डोर कर जानवी के पास जाने लगता है ,,,, जानवी अपना हाथ आगे कर उसे रोते हुए,,,, खबरदार जो आगे कदम बढ़ाएगा तो ,,, ,,,,, मुझे बुरा कोई नहीं होगा ,,, ,,,

क्योंकि तुमने कल रात ,,,,मेरे साथ जो किया,,,, वो मैं कभी नहीं भूलूंगी ,,,,क्यूकी इस बार तुमने मेरी जिस्म को ही नहीं मेरी आत्मा मेरे रूह को चोट पहुंचाई है,,,,,

मैं तुम्हें कभी माफ नहीं करूंगी अंश ,,,,, कभी भी नहीं ,,,,यह कहते हुए जानवी की हालत खराब हो रही थी,,

जानवी की हालत खराब होता देख ,,अंश जल्दी से उसके पास जाता है और फिर उसके हाथों से चाकू छीन फेकते हुए ,,,,याह क्या किया बेवकुफ लड़की,,,,तुम पागल हो क्या,,,, तुमने अपनी नास क्यों कात ली,,,

जानवी उसको देखते हुए ,,,अपना दर्द भरी मुस्कुराहट कर ,,,,,,क्या हुआ अंश पूरा हो गया तुम्हारा बदला ,,,,,, अब तो तुम खुश हो ,,, तुम भी तो यही चाहते थे ना,,,

तुम मुझे पहले ही बता देते हो कि तुम्हें मुझसे बदला लेना है,,,तो कल रात जो तुमने किया वहां तुम्हें करना ना पड़ेगा। 

 लेकिन दर्द में होने के बाद भी जानवी के चेहरे पर रवैया साफ दिख रहा था।,,, जैसा उसे कोई फ़र्क नहीं पड़ता,,,,, कि वो कुछ ही देर मैं मरने वाली है ,,, 

जानवी की बहुत हुए खून को देखते हुए,,,,,अंश जल्दी से,, जानवी के ओढ़ी हुए चादर से,,,,थोड़ा सा कपड़ा फाड़ जानवी की कलाई पर बंद देता है,,,,

और फिर उसे अपनी बाहों में उठा,,, मैं तुम्हें कुछ नहीं होने दूंगा,,,,याह कहते हुए,,अंश,,,,उस कमरे से बाहर ले जाने लगता है,,,

लेकिन जानवी अब भी अंश को मना करते हुए,,,,,, अंश मुझे छोड़ दो ,,,मेरे हाल पर ,,,मैंने कहा यहीं छोरो,,,, मुझे कहीं नहीं जाना,,,

जो तुमने कल रात मेरे साथ किया ,,,उसे बुरा मुझे नहीं जीना ,,, ये कहते हुए जानवी अपनी लंबी लंबी सांसे ले रही थी,,,,,,

,,तुमने सही कहा था ,,, कि इंडियन लड़कियां चिप नहीं होती हैं,, ,,,, उनकी अपनी जिंदगी में सबसे अच्छी किस्मत होती है,,,उनकी खुद की इज्जत होती है,,,, और मैं भी एक इंडियन हाय हूं ,, ,, हाँ कहते हुए जानवी की आँखें बंद होने लगी थी ,,,,,

फिर अंश जल्दी से उसके क्लब से बाहर निकल,, जानवी को कार में बैठा ,,, खुद भी ड्राइविंग सीट पर बैठे, , , ,,,,जानवी के सर को अपनी जांघ पर रख कार ड्राइव करने लगता है।  

अंश फुल स्पीड में कार चला रहा था,, अंश ड्राइव करते हुए, बार-बार जानवी के गालो को थपथपा रहा था,,,,, जिसे जानवी अस्पताल पहुंच तक होश में ही रहे,,,, प्लीज जानवी अपनी आंखें बंद मत करना बस हम पहुंचने वाले ,,, याह कहते हुए अंश के चेहरे पर घबराहट या एकदर्द हटा और साफ़ नज़र आ रही थी। ,,,,जे,,,
आज के लिए बस इतना

क्या अंश जानवी को बचा पाएगा, या क्या सच है अंश ने जानवी का कल रात सौदा कर दिया था। ,,,,,, क्या सच है जानवीन कल रात किसी गैर मर्द के साथ बिताई थी 

💙💚💓💚💙💙💚💓