Ishq da Mara - 78 in Hindi Love Stories by shama parveen books and stories PDF | इश्क दा मारा - 78

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इश्क दा मारा - 78

गीतिका यूवी की तरफ देखने लगती है। तब गीतिका की बुआ जी बोलती है, "मगर इसे डॉक्टर के पास ले कर क्यों जाना है ?????

तब यूवी बोलता है, "ज्यादा परेशान होने की जरूरत नहीं है, वो बस यू ही चेक अप के लिए ले कर जा रहे हैं"।

तब गीतिका बोलती है, "कैसा चेक अप ????

तब यूवी बोलता है, "नॉर्मल है तुम परेशान मत हो "।

तब गीतिका के फूफा जी बोलते हैं, "मैं यूवी के साथ गीतिका को ले कर जा रहा हूं"।

तब मीरा बोलती है, "इसे थोड़ा आराम तो करने दीजिए "।

तब यूवी बोलता है, "घर आ कर आराम कर लेगी"।

उसके बाद यूवी गीतिका और उसके फूफा जी के साथ चला जाता है।

पूरे रस्ते गीतिका बस यही सोचती रहती है कि ये आखिर मुझे हॉस्पिटल क्यों ले कर जा रहे हैं ????

थोड़ी देर बाद हॉस्पिटल आ जाता है। तब यूवी गीतिका और उसके फूफा जी अंदर चले जाते है गीतिका बस यूवी को ही देखते रहती है वो कुछ पूछना चाहती हैं मगर पूछ नहीं पाती है।

अंदर जाते ही यूवी गीतिका को डॉक्टर के केबिन में ले जाता है और सब कुछ बता देता है।

तब डॉक्टर बोलती है, "मैने आपको उस दिन भी समझाया था युवान, उसके बाद आपने दोबारा ये गलती कर दी"।

तब गीतिका बोलती है, "क्या हुआ है डॉक्टर ????

तब यूवी बोलता है, "तुम थोड़े देर चुप बैठो, मैं बात कर रहा हूं ना "।

तब डॉक्टर बोलती है, "अच्छा ठीक है पहले मैं इनका चेक अप करती हूं उसके बाद बात करते हैं"।

उसके बाद वो उसका चेक अप करती है।

उधर गीतिका की बुआ जी काफी परेशान रहती थी गीतिका के लिए"।

थोड़ी देर बाद.........

गीतिका का चेक अप हो जाता है। तब डॉक्टर बोलती है, "देखिए इनका हार्ट बिट बिल्कुल भी नॉर्मल नहीं है, ये नॉर्मल से कम है जो इनके लिए बिल्कुल भी ठीक नहीं है, और आपको मैने बताया था न कि इस वजह से उन्हें हार्ट अटैक का खतरा ज्यादा है "।

ये सुनते ही गीतिका चौक जाती है और यूवी को देखने लगती है। 

तब डॉक्टर बोलती है, "देखिए आपको उन्हें किसी भी तरह की टेंशन, स्ट्रेस नहीं देना है और आपको इनका बहुत ख्याल रखना होगा"।

तब यूवी बोलता है, "और कुछ दवाई भी देनी है "।

तब डॉक्टर बोलती है, "हा ... और खाने में भी परहेज करना है"।

तब यूवी बोलता है, "अच्छा ठीक है"।

उसके बाद यूवी गीतिका को ले कर आ जाता है।

गीतिका के फूफा जी गीतिका की दवाई लेने गए होते हैं। तब गीतिका यूवी से बोलती है, "ये सब क्या है यूवी और डॉक्टर क्या बोल रही थी"।

तब यूवी गीतिका से बोलता है, "बच्चा तुम हार्ट पेशेंट हो, और ये बात मुझे उस दिन पता चली थी जब तुम मीरा की सगाई में बेहोश हो गई थी और तुम्हारे फूफा जी तुम्हे यहां पर लाए थे "।

तब गीतिका बोलती है, "तो फिर आपने मुझे ये बात क्यों नहीं बताई "।

तब यूवी बोलता है, "मैं तुम्हे ये बात आज भी नहीं बताता, मगर बतानी पड़ी ताकि तुम अपना ध्यान रख सको, और वैसे भी अब ज्यादा दिनों की बात नहीं है, क्योंकि अब तुम कुछ दिनों के बाद हमेशा के लिए मेरे साथ रहोगी "।

तब गीतिका बोलती है, "कब?????

तब यूवी बोलता है, "बहुत जल्द "। अभी गीतिका के फूफा जी भी आ जाते हैं और सब घर के लिए निकल जाते हैं।

गीतिका घर आ कर खाना और दवाई खा कर सो जाती है ।

उधर यूवी बंटी के पास जाता है और बोलता है, "कहा है वो, जल्दी बता आज मैं उसे जिंदा नहीं छोडूंगा, कल गीतिका की वजह से वो बच गया था"।

बंटी कुछ भी नहीं बोलता है। तब यूवी बोलता है, "मैं कुछ पूछ रहा हूं कहा है वो।  ?????

तब बंटी बोलता है, "उसे पुलिस पकड़ कर ले गई "।

ये सुनते ही यूवी चौक जाता है और बोलता है, "पुलिस..... पुलिस इन सब के बीच में कहा से आई"।

तब बंटी बोलता है, "मुझे नहीं पता "।

तब यूवी चिल्ला कर बोलता है, "तो फिर किसे पता है"।

तभी पीछे से यश बोलता है, "मुझे सब पता है .............