शिवम की खामोशीशिवम, एक ऐसा लड़का जो बचपन से ही अकेला था। न दोस्तों की भीड़, न हँसी की गूंज। वो बस चुपचाप जी रहा था — स्कूल, किताबें और घर की दीवारें ही उसकी दुनिया थीं। उसकी आँखों में एक स्थायी उदासी थी, जैसे ज़िंदगी ने उसके लिए कुछ खास रखा ही न हो।10वीं तक उसका जीवन जैसे-तैसे चलता रहा। फिर आया बोर्ड परीक्षा का समय।किसी तरह प्री-बोर्ड पास कर लिया, लेकिन असली परीक्षा अभी बाकी थी।इसी दौरान उसके हाथ लगा एक नया मोबाइल।
अधूरी आवाज़ें - 1
---अध्याय 1: शिवम की खामोशीशिवम, एक ऐसा लड़का जो बचपन से ही अकेला था। न दोस्तों की भीड़, न की गूंज। वो बस चुपचाप जी रहा था — स्कूल, किताबें और घर की दीवारें ही उसकी दुनिया थीं। उसकी आँखों में एक स्थायी उदासी थी, जैसे ज़िंदगी ने उसके लिए कुछ खास रखा ही न हो।10वीं तक उसका जीवन जैसे-तैसे चलता रहा। फिर आया बोर्ड परीक्षा का समय।किसी तरह प्री-बोर्ड पास कर लिया, लेकिन असली परीक्षा अभी बाकी थी।इसी दौरान उसके हाथ लगा एक नया मोबाइल। और उसी के साथ, पहली बार उसकी ज़िंदगी में घुसी एक नई चीज़ ...Read More
अधूरी आवाज़ें - 2
कॉलेज के Hidden Voice Open Mic वाले दिन, माहौल बेहद खास था।शिवम पहली बार मंजीत को अपनी असली आवाज़ गाते देखने वाला था। स्टेज के पीछे खड़े मंजीत के चेहरे पर पसीना था, लेकिन उसकी आंखों में कुछ बदल चुका था — डर अब आत्मविश्वास में बदल रहा था।शिवम ने उसका कंधा पकड़ कर कहा,"याद रख, तू सिर्फ गा नहीं रहा, तू खुद को साबित कर रहा है।"स्टेज पर नाम पुकारा गया —"Next: Manjeet Singh."मंजीत ने माइक थामा। सामने बैठी भीड़ शोरगुल में डूबी थी, लेकिन जैसे ही उसने गाना शुरू किया — सब कुछ थम गया।कोई लिप-सिंक नहीं, ...Read More