सूरज की आखिरी किरणें पहाड़ों के पीछे छिप रही थीं, और आकाश पर गहरी लालिमा छाई हुई थी। ठंडी हवाएं पेड़ों की शाखाओं को हिलाते हुए एक अजीब-सी खामोशी को जन्म दे रही थीं।कसौली के प्रसिद्ध लवर्स पॉइंट्स के पहाड़ की चोटी पर बैठी मालविका भादुरी सिसकियों में डूबी हुई थी। उसकी गहरी काली आँखों से आंसुओं की अविरल धारा बह रही थी, जो उसके चेहरे पर अतीत की कहानियाँ लिखती जा रही थीं, जैसे वह किसी यादों के समुंदर में डूब चुकी हो।इस खामोशी में, जैसे ह र आंसू एक याद को पुनः जीवित कर रहा था, हर सांस में दिल का दर्द गहरा हो रहा था।
Full Novel
थोड़ी देर में आ रही हूँ - 1
सूरज की आखिरी किरणें पहाड़ों के पीछे छिप रही थीं, और आकाश पर गहरी लालिमा छाई हुई थी। ठंडी पेड़ों की शाखाओं को हिलाते हुए एक अजीब-सी खामोशी को जन्म दे रही थीं।कसौली के प्रसिद्ध लवर्स पॉइंट्स के पहाड़ की चोटी पर बैठी मालविका भादुरी सिसकियों में डूबी हुई थी। उसकी गहरी काली आँखों से आंसुओं की अविरल धारा बह रही थी, जो उसके चेहरे पर अतीत की कहानियाँ लिखती जा रही थीं, जैसे वह किसी यादों के समुंदर में डूब चुकी हो।इस खामोशी में, जैसे ह र आंसू एक याद को पुनः जीवित कर रहा था, हर सांस ...Read More