आरजू अब के बद हवास न थी
हमको किस्मत से इतनी आस न थी

आज पहली दफा चाय पी
तुम्हारे होठों के आस पास न थी

वक्त ए रुकसत हो हमे चेहरे से
लग रही थी पर उदास न थी

कितने इंतजार के बाद तुम्हारा फोन आया
नर्म लहजा था मिठास न थी

शक्ल ही कुछ ऐसी मिली थी हमे
वजह उदासी की कोई पास न थी

सरबतो से बुझा भी लेते मगर
इतनी जाहिल हमारी प्यास न थी...!!!

Hindi Motivational by R : 111948569
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