रक्षा बंधन बनाम स्नेह- बंधन एक त्योहार नही, एक विश्वास का रिश्ता है। आशा का बंधन है। प्रेम का संकल्प है। आत्मीयता की रेशमी डोर है। भाई-बहन के अद्भुत मोह का पवित्र पर्व है।
हमारी ओर से स्नेह बंधन के इस महापर्व की समस्त मातृ भारती परिवार, समस्त लेखकों एवं पाठकों को ह्रदय तल से अशेष शुभकामनाएं।
- इशरत हिदायत ख़ान