My Factual Poem...!!!
कोइ सुलह करा दे
जिन्दगी की उलझनो से
बडी तलब लगी है
आज हमे भी मुस्कुराने की
मसला दिल से रुँह
का कोई प्यार से सुलझा दे
बडी तलब लगी है
आज हमे भी मुस्कुराने की
हर ख्याल पर दो राय
कोई सही इस्तेमाल बता दे
बडी तलब लगी है
आज हमे भी मुस्कुराने की
जुज़ता-उलझता बंदा
कोई हक्क की राह बता दे
बडी तलब लगी है
आज हमे भी मुस्कुराने की
गुनाह भी मोहताज
ख्यालो की बुनियाद बता दे
बडी तलब लगी है
आज हमे भी मुस्कुराने की
संत-फ़कीर बनना है
कोई सच्चे गुरु से मिला दे
बडी तलब लगी है
आज हमे भी मुस्कुराने की
खाक जींदगी होने
से पहले मुक्ति राह बता दे
बडी तलब लगी है
आज हमे भी मुस्कुराने की
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-Rooh The Spiritual Power