#Janmashtmi
हे कृष्ण कन्हैया,ओ रास रचैया,
तुम ही माखनचोर ह्रदय बसैया।
नंदबाबा का लल्ला प्यारा,
यशोदा की आंखों का तारा,
माटी खा कर मुख के अंदर ,
ब्रह्मांड दिखा ड़ाला सारा।
पूज्य बड़े बलदाऊ भैया
तुम ही माखनचोर ह्रदय बसैया।
हे कृष्ण कन्हैया,ओ रास रचैया
डॉअमृता शुक्ला