वक़त क़भी एक सा
ठहरता नहीं है
वक़्त है जो बदलने
से रुकता नहीं है
आज सुख की चादर है,
तो कल दुःख की पतझङ
आज धरा पर उदय है,
तो कल धरा से देह का अस्त
वक़्त निरंतर चलता है,
आप भी सदा परिश्रम करो
वक़्त अच्छा आनेका क़भी
आप इंतज़ार मत करो
वक़्त जैसा भी है आप कार्य
की जज्बे से सुरुआत करो
वक़त तुम्हारा बदल जायेगा,
बुरा वक़्त भी हट जाएगा
#आर्यवर्त