अपनी मर्ज़ी का मालिक है ये बहुत नादान पर ज़िद्दी है ये । एक बार सोच लिया जो करना है सो करना है , किसी के आगे नहीं झुकना है । दिल को मजबूत करके निकल लिए अपनी मंज़िल के लिए , थोड़ी मुश्किल अाई पर हम भी ज़िद्दी थे थोड़े बैखौफ थे पर अपनी मंज़िल के करीब थे ।