एक बेबस बेसहारा औरत ने दुनिया से बगावत की है,
मजबूर माँ ने बच्चे की खातिर दुनिया से अदावत की है,
एक औरत ने सारी ज़िन्दगी अपना सब कुर्बान करके,
घर परिवार का सब फ़र्ज़ निभा कर इबादत की है,
औरत ने अपना तन मन धन सब कुछ निछावर करके,
खाली मकान को सजा कर घर बना कर इज़्ज़त की है,
एक औरत ने अपने माँ बाप, भाई बहन सब छोड़ कर,
एक अनजान आदमी से ज़िन्दगी भर की मोहब्बत की है,
संसार की रचयता औरत है उसीसे संसार की सुंदरता है,
"पागल" ने भी एक खुशनसीब औरत की चाहत की है।
"पागल"