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तारीफ़ के दो बोल... आत्मविश्वास को बढ़ाते संग खुशियों को दुगुना कर जाते।। सरोज प्रजापति ✍️ - Saroj Prajapati
आपके चेहरे की मुस्कान आपकी सच्ची सखी से कम नहीं क्योंकि जिस प्रकार एक सच्ची सखी जीवन की विपरीत परिस्थितियों में हौंसला बन आपके साथ सदैव खड़ी रहती है उसी प्रकार नकारात्मक विचारों से लडने के लिए आपकी प्यारी सी मुस्कान आपके होंठों पर सदैव सजी रहती है। सरोज ✍️ - Saroj Prajapati
जय कृष्णा , जय गोपाला मोर मुकुट , बांसुरी वाला । श्याम वर्ण,चंचल चितवन गल वैजयंती, अंग पीतांबर । माखन मिश्री रूचि रूचि खावे ग्वाल बाल संग धूम मचावे। नंद यशोदा का राजदुलारा वासुदेव देवकी की आंखों का तारा । राधा संग प्रीत की दी नई परिभाषा गोपियों संग मधुर रास रचाता। पापी कंस का किया पल में संहार रण में अर्जुन को दिया गीता ज्ञान। जय कृष्णा, जय गोपाला मोर मुकुट , बांसुरी वाला।। - Saroj Prajapati
मस्तक जिसके हिमालय विराजे, पवित्र गंगा चरण पखारे रक्षा में जिसके खड़े रणबांकुरे, रात दिन सीना ताने..... शान में जिसके लहराए तिरंगा, शहीदों की शहादत संभाले युग आएंगे युग जाएंगे...... भारत का गौरव गान फिजाओं में यूं ही सदियों तक गाएं जाएंगे। जय हिन्द जय भारत 🇮🇳🇮🇳🇮🇳🇮🇳🇮🇳 सरोज ✍️ - Saroj Prajapati
अक्सर अनकही ख्वाहिशें, सीने में मचलती हैं ,खूब शोर मचाती है फिर देख जिम्मेदारियों का बोझ हार....चुप्पी साध बैठ जाती है।। सरोज ✍️ - Saroj Prajapati
आया हरियाली तीज का पावन त्यौहार रिमझिम बूंदों संग बरसे खुशियों की बहार धरती ओढ़े हरी चुनरिया, कैसे दुल्हन सी शर्माए पिया मिलन की आस में यह तो सिमटी जाए। ओ,आया तीज का त्यौहार, लाया खुशियों की बहार २ भैया अब के सावन तू भी जल्दी आना परदेस में है तेरी बहना, तू मत ये बिसराना सिंधारे की नहीं लालसा, बस आशीष मुझे दे जाना। ओ,आया तीज का त्यौहार, लाया खुशियों की बहार २ तेरे नाम की रचा के मेहंदी, पिया हरी चूड़ियां खनकाऊं देखूं जब जब तेरी मोहिनी सूरत, सुध-बुध मैं बिसराऊं मधुर मिलन की सोच के, हाय लाज से मैं मर मर जाऊं।। ओ,आया तीज का त्योहार, लाया खुशियों की बहार २ ये बैरी भी बैरी सावन, दिल में हूक सी उठ जाए याद कर पीहर की गलियां, वो भूली बिसरी सखियां आंखें मेरी सावन भादो सी हाय बरसती जाएं।। ओ, आया तीज का त्यौहार, लाया खुशियों की बहार २ सरोज प्रजापति ✍️ - Saroj Prajapati
चाय में अन्य गुणों के साथ साथ एक चुंबकीय शक्ति भी होती है यकीन नहीं होता... तो आज़मा कर देखिए जनाब !! कर डालिए एक चाय पार्टी का आयोजन और फिर देखिए सब खींचे चले ना आए तो....। सरोज ✍️ -Saroj Prajapati
शिव ही शक्ति, शिव ही पूजा, शिव ही है विश्वास शिव में ही समाया है यह सकल संसार।। 🙏🙏🙏 -Saroj Prajapati
सभी मसले नहीं सुलझते बल और शक्ति से कई बिगड़ी बातें बनती आपसी विचार विमर्श और सहमति से।। सरोज ✍️ -Saroj Prajapati
पुरानी खिड़की समय मिले तो कभी खोल लीजिए दिल में बंद उस पुरानी खिड़की को जो संजोए हुए ना जाने तुम्हारे जीवन के कितने पुराने किस्सों को। झाड़ लीजिए धूल उसके पाटों की और एक बार झांक कर देखिए उस पुरानी खिड़की से...। यकीन मानिए आपकी सारी थकावट झांक, उस खिड़की से दूर हो जाएगी जीवन कि ना जाने कितनी खूबसूरत यादों से यह पुरानी खिड़की तुम्हें मिलवाएगी । मिलकर उन भूली बिसरी यादों से यकिन मानिए आपके चेहरे पर फिर से वही बेफिक्र सी हंसी आ जाएगी।। सरोज ✍️ -Saroj Prajapati
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