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भावना प्रकाश

भावना प्रकाश

@pvnqrowz8493.mb


अब आलम ये है कि जब तक कोई हादसा न हो कोई किसी की नहीं सुनता...

सबकी आंखों पर पट्टी बंधी है और अपने अपने हिसाब की रेस सबने तय कर रखी है।
अचानक जब किसी को कहीं ठोकर लगती है तब तुम्हे एहसास होता है कि किसी असहाय को गिरता हुआ देख पाने ,उसकी चोट का आंकलन लगा पाने , या उसको सहलाने- पुचकारने के लिए कितने कमज़ोर हैं तुम्हारे प्रयास।
ऐसे में अगर तुम कुछ कर सकते हो तो बस सांत्वना दे सकते हो, उसको भी और कहीं न कहीं खुद को भी क्योंकि "वक़्त" जो असल में ठहरा हुआ है, तुमको वो हर पल के साथ बीतता हुआ प्रतीत होता है और उन खोते- पाते वक़्त को तुम किसी भी हाल में किसी अन्य पर जाया नहीं कर सकते।

जानते हो ? तुम असल में अब तक ये समझ ही नही पाए कि ये जो चल रहा है ये कोई दौड़ नहीं है, बस एक डरावनी कल्पना है। और ये तुम्हारे साथ हो इसलिए रहा है क्योंकि तुम्हारे अंदर वास्तविकता को जानने की कोई जिज्ञासा मौजूद ही नहीं है ,जबकि वास्तव में सब शांत और स्थिर है अगर भाग रहा है तो केवल हमारा चेतन मन।
असल में तो इस रेस में भागने वाले कभी किसी मंज़िल तक पहुंचेंगे ही नहीं क्योंकि दौड़ कर कहीं पहुंचने के लिए ये सृष्टि बहुत बड़ी है ऐसे में कुछ होगा तो बस इतना कि थक कर या चोट खा कर समय समय पर कोई ज़िंदगी दम तोड़ती रहेगी।

भावना प्रकाश🙏

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छुप गए वो भाव
जो मैं असल में तुम्हे दिखाना चाहती थी।

जिनको देख कर तुम इतने घबड़ाये की
मुझसे दामन ही छुड़ा लेना चाहा
उन्ही के पार छिपी थी वो सच्चाई
जिनसे तुम्हे असल मे रूबरू होना था।

तुम्हारे माथे की उन
सहमी सिलवटों को देख कर
मैं डर गई हूँ ,अपनी ही सच्चाई से
और छुपा दिया है उन्हें एक सीप में।

नहीं , वो मोती कतई नहीं हैं
बस मेरे जीवन का हिस्सा हैं
उस जीवन का जो मैनें
सौंप दिया है सागर को
तुम्हारा नाम ले कर

पर अब उस तक पहुंचने के लिए तुम्हे
एक लंबी यात्रा तय करनी पड़ेगी
और मुझे तय करनी होगी,
असंख्य अथाह नदियों की यात्रा
जिनसे पार पाना अब संभव नहीं।

मैं जानती हूँ तुम्हे मुझसे
मेरा कुछ भी चाहिए नहीं
हाँ ,क्योंकि तुम जानते हो
मेरा अस्तित्व जरा मटमैला है
और तुम्हारा दामन पाक साफ।

भावना प्रकाश✍️

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