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Mandar Bhatt

Mandar Bhatt

@mandarbhatt123353


वर्षाऋतु आयी मधुर, गगन सजा है श्याम;
अथवा नभ पर छा रहा रत्नाकर अभिराम।
रत्नाकर अभिराम प्रेम लेकर है आया;
मेघ बना वह सकल धरा के तन पर छाया।
देखो कैसे पुलक मेदिनी का हिय हर्षा;
सबके अन्तर स्निग्ध करे यह परिणयवर्षा॥

~ मन्दार भट्ट ~

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स्वस्थ रहेगा चित्त भी, यदि हो शरीर निरोग।
उत्तम फलदायी सदा है अष्टाङ्गी योग॥

-Mandar Bhatt