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https://www.matrubharti.com/book/19971184/ikea आज पढ़ें मेरी लिखी एक छोटी सी कहानी "IKEA" 🙏🏼
https://www.matrubharti.com/book/19970248/badlaav-zaruri-hai-8
https://www.matrubharti.com/book/19969968/badlaav-zaruri-hai-7 कृपया इसलिए लिंक पर किल्क करके कहानी अवश्य पढ़े और पढ़कर यूँ ही ना जाये। वहां टिप्पणी के रूप में अपनी उपस्थिति अवश्य दर्ज करायें. धन्यवाद 🙏🏼
https://www.matrubharti.com/book/19969747/badlaav-zaruri-hai-6 इस श्रृंखला की यह या कोई भी और कहानी भी यदि आपको जरा भी अच्छी लगी हो तो कृप्या टिप्पणी अर्थात कमेंट के रूप में आकर अपनी प्रतिक्रिया अवश्य जाहिर करें.🙏🏼
https://www.matrubharti.com/book/19969568/badlaav-zaruri-hai-5 इस लिंक से जुड़ी यह या कोई भी और कहानी यदि आपको पसंद आयी हो तो कृप्या like, share and subscribe अवश्य करें एवं टिप्पणी के रूप मेंअपनी प्रतिक्रिया अवश्य दर्ज करायें 🙏🏼धन्यवाद 🙏🏼
https://www.matrubharti.com/book/19969400/badlaav-zaruri-hai-4 यह इस सीरीज़ की चौथी कहानी है. यदि आपको यह कहानी या इस सीरीज़ से जुड़ी कोई भी कहानी पसंद आये तो कृप्या like share and subscribe अवश्य करें
https://www.matrubharti.com/book/19969260/badlaav-zaruri-hai-3 कृपया पढ़े और यदि कहानी अच्छी लगे तो शेयर अवश्य करें और यदि ना भी अच्छी लगे तो कमेंट कर मार्गदर्शन भी अवश्य करें धन्यवाद 🙏🏼
https://www.matrubharti.com/book/19969141/badlaav-zaruri-hai यदि यह कहानी पढ़कर आपको भी लगता है कि सच में बदलाव जरुरी है तो कृपया पढ़कर यूँ हीं ना जाय प्रतिक्रिया के रूप में अपनी उपस्थित अवश्य दर्ज कराये धन्यवाद 🙏🏼
https://www.matrubharti.com/book/19968862/badlaav-zaruri-hai जय श्री कृष्ण 🙏🏼सभी को आप सब से एक निवेदन कृप्या मेरी नयी कहानी को पढ़कर यूँ ही ना जाए, टिप्पणी के रूप में अपनी उपस्थित अवश्य दर्ज कराये. धन्यवाद 🙏🏼
आँखें आँखें जो बिना तलवार ही घायल करने का हुनर रखती है जो जानना हो कभी किसी भी स्त्री को तो पढ़ो उसकी आँखें उसकी आँखों में ही छिपे होते हैं उसके सभी मनोभाव ध्यान से देखोगे तो देख पाओगे जो जुबां कह नहीं पाती वो सच बोलती है आँखें...! कोई चाहे ना चाहे राजे दिल खोलती है आँखें...!! स्त्री जीवन की कमी, उसके मन का खालीपन या फिर उसके जीवन की सफलता का उल्लास उसका अहम् या फिर उसके मन में छिपी कोई आस जो वो हुई बेहद ही खूबसूरत तो तुम्हें दिख सकता है उसका घमंड भी, जो ना भी वो हुई सुंदर तो क्या हुआ...? चाहत तो उसकी तब भी वही होती है क्यूंकि सुंदर दिखना, हर स्त्री की एक बड़ी चाहत जो होती है जिसके लिए ना जाने किए जाते हैं कितने ही प्रपंच....!! रंग को हल्का किया जाता है, बालों को रंग दिया जाता है, धंस गयी हो जो आँखें भले ही पर उनमें भी काजल नुमा कालिख को भर दिया जाता है...!! सूखे बेरंग होंठों को भी नकली रंगत से रंग दिया जाता है...!! इस एक कमी को भरने के लिए ना जाने क्या कुछ नहीं किया जाता है...!! लेकिन तब भी काजल की अंधीयारी ग़ालियों से सच बोलती है आँखें दिल में जो छिपे हैं वह राज खोलती हैं आँखें...!! जिस किसी के जीवन की जो कमी होती है. जुबाँ चाहे कुछ बोले ना बोले पढ़ने वाला मिले तो सच बोलती हैं आँखें....!!! पल्लवी
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