Quotes by Meera Singh in Bitesapp read free

Meera Singh

Meera Singh

@meerasingh3946


कहाँ पाओगे मुझ जैसा
जो तुमसे दूर भी रहे
और तुमसे प्यार भी करें।।

मीरा सिंह

थोड़े से बदले थोडे-थोडे उदास से रहते है
आजकल हम थोडे हिसाब से रहते है।
उसे तो मिल गया साथी मगर
फिर भी हम उसी की तलाश मे रहते है।।

मीरा सिंह

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बहुत रोना चाहती हूँ

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कहाँ सुरक्षित है नारी
तुम कहो अब क्या कहते हो।
ममता से सींचा जिसने तुमको
तुम उसी की अस्मिता लूटते हो।।
माँ के आँचल में बड़े हुए
आँचल को मार गिराते हो।
अब कहाँ सुरक्षित है नारी
तुम कहो अब क्या कहते हो।।
निर्ममता से जिसके अरमानों को कुचलने हो
तुम नर हो या दानव स्वरूप
जो निर्मम हत्या करते हो।।
क्यों शान्त खड़ी हो तुम नारी
तुम शक्ति का अवतार हो।
नही आएंगे कृष्ण कोई
स्त्री की लाज बचाने को।।
कहाँ सुरक्षित है नारी
तुम कहो अब क्या कहते है।
चहुंओर है गुमनामी
हर ओर अंधेरा छाया है।
तुम कहो शान्त क्यों बैठे हो
मुजरिम बन वर्दीधारी आया है।।
नही कोई कानून यहाँ
न संविधान के नियम है।
कहाँ सुरक्षित है नारी
तुम कहो अब क्या कहते हो।।

कोलकता हत्याकांड को समर्पित भावभीनी श्रद्धांजली

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written by myself

हे सरस्वती
माँ वीणा वादिनी
विद्या का हमको वर दे
दूर करो माँ फैला तम है
जगमग जग कर दे
माँ जगमग जग कर दे।
हे स्वर प्रदायिनी
हंस आहनी
ज्ञान की ज्योति जला दे
दूर करो माँ फैला तम है
जगमग जग कर दे
जगमग जग कर दे।
हम बच्चें है भोले -भाले
ज्ञान की शक्ति से अनजाने
बुद्धि का हमको वर दे
दूर करो माँ फैला तम है
जगमग जग कर दे।
हे सरस्वती
माँ वीणा वादिनी
विद्या का हमको वर दे
दूर करो माँ
फैला तम है
जगमग जग कर दे
जगमग जग कर दे।।

माँ सरस्वती के चरणों में समर्पित


मीरा सिंह

- Meera Singh

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मैं चुप हूँ
या उदास हूँ
मैं इस बात से ही हैरान हूँ
मैं अकेली हूँ
या मुझको ही मेरा साथ है
मैं इस बात से ही परेशान हूँ
मैं हूँ
या खुद की एक पहचान हूँ
इन आँखों में बरसात है
फिर भी मैं समुन्द्र की तरह शान्त हूँ
मैं चुप हूँ
या उदास हूँ
मैं इस बात से ही हैरान हूँ।।

मीरा सिंह

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मैनें हँसकर छोड़ दिया उसे भी
जिसे पाने के लिए मैं बहुत रोई थी।।

मीरा सिंह