**किसी पर्सनल इमरजेंसी की वजह से लिख नही पाई, इसलिए पार्ट अपलोड नही कर पाई। अधूरा था अभी पूरा किया है और अपलोड कर रही हूं।**
"प्लीज़ कह दीजिए की आप मज़ाक कर रहे हैं।" अमायरा ने कुछ देर बाद फुसफुसाते हुए कहा। वोह बहुत शॉक में थी कबीर के इज़हार से। 
"नही अमायरा। मैं बिल्कुल सच बोल रहा हूं। कोई मज़ाक नहीं है। मुझे पता है तुम्हे सदमा लगा होगा लेकिन मैं क्या करूं। मैं अब ज्यादा दिन तक यह बात तुमसे छुपा भी तोह नही सकता था। यही बात की मैं तुमसे प्यार करता हूं। आई लव यू वैरी मच।"
"नही। आप नही करते। आप मुझसे प्यार नही करते। आप मुझसे प्यार नही कर सकते। आप महिमा से प्यार करते हैं। सिर्फ उनसे।" अमायरा ज़ोर से चिल्लाई। 
"हां मैं करता हूं। पर इसका यह मतलब नहीं है की मैं तुम्हारे लिए कोई फीलिंग्स नही रख सकता। मैं इतना ज्यादा महिमा के प्यार में था की मैं अपनी जिंदगी में आगे बढ़ ही नही पा रहा था। मेरी जिंदगी थम गई थी। पर तुमने मुझे अपनी जिंदादिली से रियलाइज करवाया की मैं अभी भी मुस्कुरा सकता हूं, मैं भी जी सकता हूं महिमा की अच्छी यादों के साथ ना की उसको याद कर कर के दुखी होता रहूं।"
"आप ऐसा नहीं कह सकते। आप नही कर सकते। मैं कभी भी उनकी जगह नही लूंगी। कभी भी नही।"
"तुम किसी और की जगह ले भी नही रही हो। तुमने अपनी खुद की जगह बनाई है। इस घर में, मेरी जिंदगी में, मेरे दिल में। पहले जब मॉम मुझसे शादी के लिए पूछती थी तोह मैं मना कर देता था क्योंकि मैं सोचता था की जो भी मेरी वाइफ होगी वोह मुझे महिमा को भूलने की कोशिश करेगी, पर तुमने उसकी यादों को और भी खूबसूरत बना दिया है मेरे लिए। तुमने मुझे हंसना सिखाया है, और मुझसे कभी यह उम्मीद नही की मैं उसे भूल जाऊं। तुम उसकी जगह नही ले रही हो, बिलकुल भी नही। 
"नहीं.....नहीं.....नहीं......यह सब झूठ है। बहुत बड़ा झूठ।"
"मैं झूठ क्यों बोलूंगा अमायरा।"
"क्योंकि आप गिल्टी फील कर रहें हैं और अब मुझे अपनी ज़िमेदारी समझ कर यह सब कह रहें हैं।" अमायरा ने आंखों में आंसू भरे हुए कहा। 
"क्या? यह सब क्या कह रही हो?"
"हां। आप यह सब इसलिए कर रहे हैं क्योंकि मैने आपको डाइवोर्स देने से मना कर दिया।"
"तोह?" कबीर कन्फ्यूज्ड हो गया था। 
"क्या तोह। आपने सोचा अब मैं यहां हमेशा के लिए यहां रहूंगी, और आपको पता है की मुझे एक कंपलीट फैमिली और बच्चे चाहिए, आपको यह लग रहा है की यह आपकी ज़िमेदारी है मुझे यह देने की। आपको मेरे लिए बुरा लग रहा है, की मैं फस गई हूं यहां उन सब चीजों के बिना जो मैं चाहती थी और इसलिए अब आप मुझे यह देना चाहते हैं। पर आपको पता है क्या; मुझे आपकी यह चैरिटी नही चाहिए। आप बस मेरी इंसल्ट कर रहें है यह सब बोल कर।"
"प्लीज़ अमायरा, तुम मुझे गलत समझ रही हो। मैं सच में तुम्हे प्यार करता हूं। मैं यह सब करने का नाटक क्यों करूंगा?"
"क्योंकि आप एक अच्छे इंसान हैं। और मुझे खुश देखना चाहते हैं, भले ही आपको इसके लिए मुझसे झूठ बोलना पड़े की आप मुझसे अचानक प्यार करने लगे हैं।"
"मैं करता हूं तुमसे प्यार अमायरा। और मैं ऐसे अचानक तुमसे प्यार करने नही लगा हूं। यह तोह बहुत पहले से हो रहा था, पहले मुझे रियलाइज नही था, पर अब है। और मुझे पूरा यकीन है इसके लिए।"
"ओह प्लीज़ बार बार एक ही बात दौहराना बंद कीजिए। मुझे नही सुनना।" अमायरा ने अपने दोनो हाथों की मदद से अपने दोनो कान ढक लिए थे। 
"शायद तुम मेरे ऐसे अचानक इज़हार करने से घबरा गई हो, लेकिन यह जान लो की यह अचानक नही हुआ है। मैं पहले भी तुम्हे बता देना चाहता था लेकिन हिम्मत नही हुई थी। और अब जब मैने तुम्हे बता दिया है तोह मैं ऐसा बिल्कुल भी एक्सपेक्ट नही करता की तुम भी मेरी फीलिंग्स को एक्सेप्ट कर लो। तुम अपना पूरा समय लो, सोचो इस बारे में, शायद तुम्हे यह रियलाइज हो जाए की मैं सच बोल रहा हूं।"
"महिमा के बारे में आपकी फीलिंग्स का क्या हुआ? क्या उनके लिए आपका प्यार खतम हो गया, क्योंकि अब तोह आप मुझसे प्यार करने लगे हैं? अमायरा ने कड़क लहज़े में पूछा। 
"नही अमायरा। मैं उसे कभी प्यार करने छोड़ नही सकता। वोह मेरी जिंदगी का हिस्सा हमेशा रहेगी, जबकि वोह यहां है भी नही। पर उसे प्यार करने का मतलब ऐसा बिल्कुल भी नही है की मैं तुमसे कम प्यार करता हूं। मैं बस जिंदगी में आगे बढ़ना चाहता हूं, तुम्हारे साथ खुश रहना चाहता हूं। तुम्हारे साथ जिंदगी जीना चाहता हूं, प्यार भरी, हसी और खुशियों भरी।"
"मुझे तो यकीन ही नहीं हो रहा की यह सब मेरे साथ हो रहा है। आपने यह सब क्यों किया? आप मुझे ऐसे ही क्यों नही रहने देते जैसे मैं रह रही थी? ओह गॉड, वाय मी?" अमायरा ने पछताते हुए कहा। 
"क्या मैं इतना घिनौना हूं की तुम उतना परेशान हो गई?" कबीर ने मज़ाक करते हुए पूछा। 
"ओह स्टॉप इट। मेरे ऊपर यह अपने डर्टी गेम्स खेलने की कोशिश भी मत कीजिएगा। मैने सोचा था की आप मेरे दोस्त हैं लेकिन आपने सब खराब कर दिया। क्यों?" अमायरा रो पड़ी थी। 
"किसी से प्यार करने में कोई गलती नही है, एस्पेशली जब वोह आपकी अपनी वाइफ हो।"
"ओह तोह अचानक से आपको अपनी वाइफ याद आ गई, क्यों? क्यों अब?"
"तुम मुझसे नाराज़ हो क्योंकि मैंने पहले तुम्हे अपनी पत्नी नही माना, तोह अब मैं जब मान रहा हूं, तोह तुम मुझसे बदला ले रही हो मुझे रिजेक्ट करके?"
"आप सच में इतने गंदे हैं? आप ये मन घणत कहानियां बना रहे हैं, आपने आप को, अपने हरकतों को जस्टिफाई करने ले लिए?" अमायरा चिल्ला पड़ी। 
"किन हरकतों की बात तुम कर रही हो?"
"वोही जो आपने बाहर किया, हॉल में सबके सामने।" अमायरा ने कबीर को घूरा। 
"ओह तोह तुम इसलिए गुस्सा हो क्योंकि मैंने हॉल में तुम्हे किस किया, सबके सामने। मैं यह यहां अकेले में अपने कमरे में भी कर सकता हूं। क्या करूं?" कबीर ने इंटेंशियली एक कदम अमायरा की तरफ आगे बढ़ाया और अमायरा ने खतरा समझ कर एक कदम पीछे ले लिया। 
"हिम्मत भी मत करना। आप मुझे किस नही कर सकते," अमायरा ने धमकाते हुए कहा। 
"तुम मुझे यह बता रही हो या चैलेंज कर रही हो?" कबीर ने शरारत से पूछा। "क्योंकि अगर तुम मुझे बता रही हो तोह मैं तुम्हे गलत साबित कर सकता हूं, अभी, इसी वक्त और मैं तुमसे प्रोमिस करता हूं की तुम मुझे कंप्लेंट भी नही करोगी। और अगर यह चैलेंज है तोह मैं दिल से इसे स्वीकार करता हूं। और मुझे बहुत खुशी होगी वोह चैलेंज जीत कर।" कबीर ने उसके नज़दीक आकर उसके पास झुक कर फुसफुसाते हुए कहा। और अमायरा शर्मिंदा होने लगी। 
"आप इतनी आसानी से यह कैसे कह सकते हैं," अमायरा बुरी तरह से परेशान हो चुकी थी। 
"मैं और भी बहुत कुछ कह सकता हूं। आई लव टू बी विद यू, आई लव लुकिंग एट यू एंड आई लव टॉकिंग टू यू। एंड आई वुल्ड लव टू होल्ड यू, किस यू एंड....."
"ओके स्टॉप इट। लुक मिस्टर मैहरा, मैं नही जानती आपको क्या हुआ है, पर यह मत सोचना की मैं आपको जो मन चाहा करने की इजाज़त दें दूंगी।" अमायरा ने घूर कर देखा। 
*"बताओ जा कर उसे की तुम उससे प्यार करते हो। अगर वोह इनकार करदे तोह, उसे पाने की कोशिश करो। उसे अपने प्यार पर यकीन दिलाओ, जैसे तुमने मुझे दिलाया था"* कबीर को महिमा की वोह बात याद थी जो महिमा को इमेजिन करते वक्त उन दोनो के बीच हुई थी। 
*तुम कैसे जानती थी की वोह इनकार कर देगी? ओह मैं कैसे भुल गया, यह भी तोह तुम्हारी तरह ही है।*
"क्या? आप हंस क्यों रहे हैं? क्या मैं यहां जोक सुना रही हूं?"
"जो भी तुमने कहा वोह मुझे मज़ेदार लगा, इसलिए मुझे खुद हसी आ गई। तुम्हे ज्यादा मेहनत करने की जरूरत नहीं है।" कबीर ने फिर मुस्कुराते हुए जवाब दिया और अमायरा अपना पैर पटकने लगी। 
"जो भी हो। बस यह याद रखिए मुझे कोई फर्क नही पड़ता किसी भी ड्रामा से। तोह यह बात बार बार मेरे सामने मत दौहराइए क्योंकि मैं इंटरेस्टेड नहीं हूं बिलकुल भी।" अमायरा ने कहा और दरवाज़े की तरफ बढ़ गई। 
कबीर ने उसे जाते हुए देखा और जल्दी से आ कर उसका हाथ पकड़, उसे अपनी करीब खींच लिया, अपनी बाहों में। 
"क्या? क्या कर रहें हैं आप?" अमायरा घबरा गई थी। 
"यह किसी तरह का ड्रामा नही है अमायरा। मैं तुमसे प्यार करता हूं। मैं तुम्हे पूरे दिल से चाहता हूं। तुम चूस कर सकती हो लव मी और नॉट, पर तुम यह नहीं कह सकती की मैं एक्टिंग कर रहा हूं। अगर तुम्हे अभी यकीन नही है तोह, कोई बात नही।"
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