एक कहानी ऐसी भी

(35)
  • 93.4k
  • 7
  • 48.4k

आज बहुत देर से उठा था | सायद रात की दारू उतरी नहीं थी | ओर सर भी भारी लग रहा था पिछले कुछ दिनों से उसकी मुसकेलिया थम ने का नाम नहीं ले रही थी | वो कितना भी कुछ करले हालत बद से बदतर होते जा रहे थे | इसी के चलते उसने दारू ओर सिगरेट की लत भी लगा ली थी | आज जब वो उठा तो बस यही दोहराता रहा वो मुजे मार डालेगी | खैर ये बात अनुज की अनुज मिश्रा | जैसा उसका नाम था वैसा ही उसका रिश्ता | वो घर मे सबसे छोटा था |

New Episodes : : Every Monday, Wednesday & Friday

1

एक कहानी ऐसी भी - भाग 1

आज बहुत देर से उठा था | सायद रात की दारू उतरी नहीं थी | ओर सर भी भारी रहा था पिछले कुछ दिनों से उसकी मुसकेलिया थम ने का नाम नहीं ले रही थी | वो कितना भी कुछ करले हालत बद से बदतर होते जा रहे थे | इसी के चलते उसने दारू ओर सिगरेट की लत भी लगा ली थी | आज जब वो उठा तो बस यही दोहराता रहा वो मुजे मार डालेगी | खैर ये बात अनुज की अनुज मिश्रा | जैसा उसका नाम था वैसा ही उसका रिश्ता | वो घर ...Read More

2

एक कहानी ऐसी भी - भाग 2

अगले भागमे हमने देखा की | एक खुस- खुशाल अनुज का परिवार किसी अनजानी शक्ति की चपेट मे आ है | आए दिन उसके घर पे जघड़े होते रहते है | पर हद तो तब होती है | जब वो कहता है की वो मुजे मार डालेगी | सब के समजाने पर सब ठीक हो जाता है | अब आगे | इन सबकी नजर से दूर कोई मंगल मेंसन पे अपनी नजर टिकाए खड़ा है | आखिर है कोन वो ओरत या मर्द | ये थी सुनैना | अनुज की जिसके साथ सादी होने वाली थी | ...Read More

3

एक कहानी ऐसी भी - भाग 3

आगे अपने देखा की किस तरह अनुज को काले जादू के जाल मे फसाया जाता है | जब वो पहुचता है तब सब को लगता है की सब कुछ ठीक हो गया | पर ये उनकी गलतफहमी थी | जैसे ही अनुज डिनर करके खड़ा होता है , वो धम से गिर जाता है | ओर उसे काले खून की उलटी होती है | सब उसे अस्पताल ले जाते है | अब आगे | अस्पताल के बाहर कोई फोन पे बात कर रहा है | जीतने भी पैसे हो सब के सब लगा दूंगा पर मेरे बच्चे को ...Read More

4

एक कहानी ऐसी भी - भाग 4

जैसे की आपने देखा की अनुज के माता - पिता अंदर से टूट चुके थे | ठीक उसी तरह तरह सालों पहले सुनैना के माता - पिता की हालत थी | समय आज वही पे आके खड़ा था | मात्र व्यक्ति का परिवर्तन हुआ है | सब लोगों ने पूरी रात यही चिंता मे बितादी की | सुबह क्या होगा | सुबह होते ही राकेश जि अस्पताल को निकल गए | वहा जाके प्रेम से सब कुछ पूछताछ की | पूछताछ करने पर पता चला की | पूरी रात अनुज सोया ही हुआ था | उसने अपना ...Read More

5

एक कहानी ऐसी भी - भाग 5

अगले भाग मे हमने देखा की | किस तरह अनुज का परिवार काले जादू से लड़ रहा है | हर बार रात मे ही कुछ घटना ए घटती है | क्या अनुज का परिवार ऐसे ही सब सहेता रहेगा | या कोई आएगा इन्हे बचाने | अब आगे | अनुज को इमर्जनसी अस्पताल ले जाया गया | सब हेरान थे की | आखिर ये क्या हो रहा है | तब ही डॉक्टर आए ओर बोले | सॉरी मी . राकेश आपका लड़का कोमा मे चला गया है | अब हमारी कोई ट्रीटमेंट का उनपे कोई असर नहीं ...Read More

6

एक कहानी ऐसी भी - भाग 6

अगले भाग मे हमने देखा की कैसे अनुज का परिवार निसहाय हो जाता है | पर जब पूरे परिवार घर छोड़कर प्रेम ओर राकेश जि अस्पताल जाते है तो | रास्ते मे उन्हे मायावती जि मिलती है ओर सब कुछ बताती है | ओर काले जादू से बचने के लिए अपने बेटे की सहायता लेने के लिए कहेती है | अब आगे | मायावती जी की बाते सुनकर | आज बहोत समय बाद उनलोगों को उम्मीद जागी थी | जिन्हे वो हर हाल मे खोना नहीं चाहते थे | इसलिए उन्होंने मायावती जी से एड्रैस लिया ओर अभिमन्यु ...Read More

7

एक कहानी ऐसी भी - भाग 7

आपने देखा की राकेश जि ओर प्रेम अभिमन्यु को ढूंढ लेते है | पर ये क्या अनुज तीन दिन ही दुशरी दुनिया मे पहोच गया है | ओर वहा वो विचित्र घटना ओ को देखता है | लासों का ढेर | खून पीते आदमी और ओर भी बहुत कुछ | अब आगे अभिमन्यु अब राकेश जि ओर प्रेम के साथ जा रहा है | अनुज को बचाने के लिए | वो उनके घर गया | पर वहा उसे कुछ अजीब नहीं लगा | पर जब वो अस्पताल मे दाखिल हुआ उसे अजीब सा अहेसास हुआ | की जैसे ...Read More

8

एक कहानी ऐसी भी - भाग 8

आगे आपने देखा की अभिमन्यु अनुज के बगल मे बैठ जाता है | ओर बैठकर ध्यान लगाता के तभी दुशरी दुनिया मे पहोच जाता है | वहा उसे अनुज दिखता है ओर अभिमन्यु से कहेता है मुजे बचालों अभिमन्यु | क्या वो सच मे अनुज ही था या कोई ओर चलो देखते है इस भाग मे | अब आगे | अभिमन्यु अनुज के पास जाने ही वाला था की तब ही उसे याद आया की , मे तो अनुज को पहेली बार मिल रहा हु | इससे पहले तो कभी अनुज को मे कभी मिला ही नहीं फिर ...Read More

9

एक कहानी ऐसी भी - भाग 9

आपने देखा की अभिमन्यु अनुज को बचाने जाता है | पर वो अनुज नहीं बल्कि एक छलावा था | इसके बाद अभिमन्यु प्रेतों को देखता है | उनके तादात बड़ी होने की वजह से वो भाग जाता है | ओर गिर जाता है तभी कोई मशाल लेकर उसे बचा लेता है | ओर सीमा के उस पार ले जाता है | जहा ये प्रेत आ नहीं शकते | वो उस आदमी के साथ सुरक्षित जगह पर चला जाता है | जब सारा मामला शांत हो जाता है तो उसे पता चलता है की वो कोई ओर नहीं | ...Read More

10

एक कहानी ऐसी भी - भाग 10

आगे आपने देखा की जैसे ही रात होती है। पेड़ अपनी जगह बदल देते है । आकाश में तारे - टिमाने लगते है । ओर उसी समय आसमान से सात घोड़े सवार आते है । उन्हे देखकर अभिमन्यु को लगता है । जैसे ये सात ही इस दुनिया के रखवाले है । ओर वो लोग उन्हे इस दुनिया से बाहर ले जा सकते है । वो सात घोड़े सवार आये। घोडे से नीचे उतरकर पेड़ के पीछे चले गए । अभिमन्यु ओर अनुज उनसे बात करने की बहुत कोशिश की । पर उन्हों उनकी एक न सुनी । ...Read More

11

एक कहानी ऐसी भी - भाग 11

आगे आपने देखा की वो सात घोड़े सवार थे । उन्होंने अपनी आप-बीती कही । ओर ये भी कहा वो इस दुनिया के रक्षक है । जो अनुज ओर अभिमन्यु को यहा से बाहर लेजा सकते है । पर उसके लिए वो उन्हे रास्ता दिखा सकते है । पर जाना उसको खुद ही पड़ेगा । उन्मे से जो पहला घोड़े सवार था वो नक्शे का रक्षक था । वो पहले उन लोगों के बारे जानना चाहता था ताकि बुरे प्रेत इस दुनिया से बाहर न जाए । अनुज ने अपनी पूरी कहानी बताई ओर उसे सच्ची लगी । ...Read More

12

एक कहानी ऐसी भी - भाग 12

आगे आपने देखा की जैसे उन्होंने अमरूद तोडा तो जंगल मे खलबली मच गई । पूरी जमीन घूमने लगी देखते ही देखते पूरा जंगल सिकुड़ गया । ओर उन्हे बहुत ऊंचे उछाल दिया । जब ये चक्रवात थम गया । तब वो एक तालाब के किनारे थे । अब वो तालाब पार करके ही उस ओर जा सकते थे । तो उन्होंने एक नौका बनाई । ओर तालाब मे गए । पर ये क्या वो जैसे ही तालाब मे गए । तालाब के प्रेत जिंदा हो गए । ओर उनपे तराप मारने लगे । जैसे तैसे करके ...Read More

13

एक कहानी ऐसी भी - भाग 13

आगे आपने देखा की अनुज कैसे दूसरी दुनिया से अभिमन्यु के साथ बाहर आ जाता है । सब लोग अभिमन्यु का तहेदिल से शुक्रिया करते है । उसे बहुत मान - पान देकर विदा करते है । मेरे सब पाठकों को लगता है की कहानी या पूर्ण हो गई है । ओर सुनैना से बचना इतना आसान था । अभी तक तो मुजे भी ऐसा ही लग रहा था । पर बात ये है की अगर कहानी कोई मोड ना ले तब - तक पढ़ने ओर लिखने का मजा नहीं आता । अभिमन्यु घर से बाहर निकलता है ...Read More