बलवीर की बल्ली — भाग 2️ लेखक: राज फुलवरे---1. शादी — विरोध, दर्द और हिम्मतजब बलवीर और बल्ली की शादी की खबर गाँवों में फैली, तो जैसे हवा बदल गई। जो लोग पहले सिर्फ बातें करते थे, आज वही लोग खुले तौर पर विरोध करने लगे। खेती की चौपालों से लेकर गुरुद्वारों के बाहर तक लोग चर्चा कर रहे थे और उनके शब्दों में तीखापन घुला हुआ था।“क्या! राजपूत ने नीची जात में शादी कर ली? यह तो अपमान है!” कुछ लोगों की आवाज़ें लगातार यही कहती रहीं।“लड़की ने ऊँची जात में शादी की? यह भी गलत है!” दूसरी तरफ़