गुनाहों की सजा - भाग 20

अपनी माँ को रोता देख नताशा भी रोने लगी। उसने रोते हुए कहा, "मुझे नहीं मालूम था कि वरुण ऐसा इंसान निकलेगा। मेरी तो इसने ज़िंदगी ही बर्बाद कर दी।" रीतेश भारी मन से पेन उठा कर उस फाइल पर दस्तखत करने लगा। इस समय उसका चेहरा गुस्से में लाल हो रहा था। यदि वरुण पुलिस वाली बात न कहता, तब तो यहाँ के हालात को संभालना मुश्किल हो जाता। जिस प्रॉपर्टी के लिए उसने इतने पापड़ बेले थे, वह प्रॉपर्टी आज उसके हाथ में आते ही छूट रही थी। तब तक दोबारा बेल बजी और बेल बजते ही रीतेश