अध्याय 1 : सपनों का युद्धआर्यन एक आम-सा लड़का था। शहर के एक साधारण कॉलेज में पढ़ता था, दोस्तों के साथ मज़ाक करता, बाइक चलाता और लाइब्रेरी से कॉमिक्स उठाकर पढ़ता। उसकी ज़िंदगी में सब कुछ उतना ही सामान्य था जितना किसी भी नौजवान की होती है। मगर उसकी रातें सामान्य नहीं थीं।हर रात, नींद के गहरे अंधेरे में, वह एक ऐसे मैदान में पहुँच जाता था जहाँ चारों ओर धूल उड़ रही होती। हवा में खून की गंध, ज़मीन पर बिखरी लाशें और दूर से आती शंखनाद की आवाज़। आर्यन देखता—लाखों योद्धा धनुष-बाण, तलवार और गदा लेकर भिड़े हुए